बाहुबलियों के भरोसे चुनावी वैतरणी पार पाने में जुटी राजद, रीतलाल को मिला सिंबल, चर्चा जोरों पर

पटना। जिस तरह से राजद ने दबंगों को बिहार विधानसभा चुनाव में टिकट बांटा है। उससे बिहार के सियासी गलियारों से लेकर आम जनमानस के बीच चर्चा जोरों पर है कि मानों राजद इस बार बाहुबलियों के भरोसे अपनी चुनावी वैतरणी पार पाने में जुटी है। अब राजद ने एक और बाहुबली को टिकट दिया है, नाम है रीतलाल यादव।
खबर है कि नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने दबंग छवि के रीतलाल यादव को राजद का सिंबल थमा दिया है। रीतलाल यादव दानापुर विधानसभा क्षेत्र से चुनावी मैदान ताल ठोकेंगे। वे कुछ दिन पहले ही जेल से छुटकर आए थे और फिलहाल जमानत पर हैं। इसके पहले राजद बाहुबली अनंत सिंह को मोकामा से टिकट दे चुका हैं। पिछले दिनों अनंत सिंह ने जेल से कड़ी सुरक्षा में मोकामा विधानसभा से अपना नामांकन दाखिल किया था। यहां पहले चरण में चुनाव होने हैं। मोकामा से ही उनकी पत्नी नीलम देवी ने भी निर्दलीय नामांकन किया है। ताकि अगर पेंच फंसे तो पत्नी चुनावी मैदान में उतरेंगी। हालांकि अनंत सिंह का पर्चा खारिज नहीं हुआ है। नीलम देवी अब अपना नाम वापस ले सकती हैं। इसी तरह राजद ने कांटी विधान सभा क्षेत्र से इसराइल को सिंबल दिया है।
दुष्कर्म के सजायाफ्ता की पत्नी को भी मिला टिकट
राजद ने इस बार नाबालिग से दुष्कर्म के मामले में सजायाफ्ता व राजद के पूर्व विधायक राजबल्लभ यादव की पत्नी विभा देवी को नवादा से टिकट दिया है। जबकि आरा जिले के संदेश विधानसभा क्षेत्र से भी उन्होंने नाबालिग से दुष्कर्म के मामले में फरार चल रहे अरुण यादव की पत्नी किरण देवी पर विश्वास जताया है।
यहीं नहीं राजद की ओर से पूर्व सांसद और बाहुबली शहाबुद्दीन की पत्नी हिना शहाब को भी टिकट देने की पेशकश की, मगर हिना इस बार चुनाव लड़ना नहीं चाहती। नहीं तो हिना भी चुनाव मैदान में होती। वे 2009, 2014 और 2019 का लोकसभा चुनाव राजद के टिकट पर लड़ चुकी हैं और तीनों चुनाव में हार का मुंह देखना पड़ा था। इसे देखते हुए इस बार उन्होंने अपने करीबी हरिशंकर यादव की दावेदारी पर ही मुहर लगा दी। पिछली बार भी हिना ने हरिशंकर को ही लड़ाया और जिताया था।
बाहुबली की पत्नी और बेटे चुनाव मैदान में
राजद ने हद तो उस वक्त पार कर दी जब राजद के अन्य कार्यकर्ता टिकट का आस लगाए बैठे थे और तेजस्वी ने जेल में बंद बाहुबली पूर्व सांसद आनंद मोहन की पत्नी और बेटे को चुनाव मैदान में उतार दिया, जबकि वह कुछ दिन पहले ही जदयू छोड़कर राजद में शामिल हुए हैं। लवली आनंद को जहां शिवहर से टिकट दिया गया है तो उनके बेटे को चेतन आनंद को शिवहर से चुनाव मैदान में उतारा गया है।

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