पटना में आपसी विवाद में दो पक्षों में जमकर मारपीट, 10 राउंड से अधिक चली गोलियां, मामला दर्ज
पटना। दीदारगंज थाना क्षेत्र में एक आपसी विवाद के चलते मारपीट और गोलीबारी की गंभीर घटना सामने आई है। मामले के अनुसार, पीड़ित अमरजीत कुमार ने बताया कि यह घटना 8 दिन पहले उस समय हुई जब उनका भाई पुनाडीह गांव में एक लिट्टी की दुकान पर पानी पी रहा था। इस दौरान गलती से दुकान में लगे बल्ब पर उसका हाथ लग गया, जिससे बल्ब बुझ गया। इस मामूली बात पर दुकानदार नसीब कुमार ने गुस्से में आकर अपने साथियों के साथ अमरजीत के भाई के साथ मारपीट शुरू कर दी। घटना की खबर मिलते ही अमरजीत और उनके पिता वहां पहुंचे और समझा-बुझाकर अपने भाई को घर ले आए। हालांकि, मामला यहीं नहीं रुका। कुछ समय बाद दुकानदार नसीब कुमार और उसके साथी हथियारों के साथ अमरजीत के घर आ धमके। स्थिति को और भयावह बनाते हुए उन्होंने घर के बाहर करीब 10 राउंड गोलियां चलाईं और ईंट-पत्थरों से खिड़कियों के शीशे तोड़ दिए। गोलीबारी के इस कृत्य के बाद उन्होंने धमकी दी और वहां से फरार हो गए। इस घटना का एक बड़ा हिस्सा सीसीटीवी कैमरे में रिकॉर्ड हुआ है, जो मामले की गंभीरता को स्पष्ट करता है। पीड़ित परिवार ने इस घटना के बारे में स्थानीय पुलिस थाने में शिकायत दर्ज करवाई और न्याय की गुहार लगाई। इसके बाद मंगलवार को आरोपियों ने फिर से पीड़ित के घर पर आकर गाली-गलौज की। घटना की सूचना फतुहा के एसडीपीओ-1 निखिल कुमार को दी गई, जिन्होंने उचित कार्रवाई का आश्वासन दिया। इसके बावजूद अब तक कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया, जिससे पीड़ित परिवार की सुरक्षा को लेकर उनकी चिंताएं बढ़ती जा रही हैं। इस मामले पर दीदारगंज थाना प्रभारी ने बताया कि दोनों पक्षों के बीच मारपीट की घटना सोमवार को भी हुई थी। उन्होंने बताया कि इस मामले में एफआईआर दर्ज की जा चुकी है और जांच जारी है। जल्द ही आरोपियों की गिरफ्तारी का भी आश्वासन दिया गया है। पुलिस का कहना है कि वे कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए हर संभव प्रयास कर रहे हैं, लेकिन पीड़ित परिवार का कहना है कि उन्हें अभी तक न्याय नहीं मिला है और वे आरोपियों के खिलाफ ठोस कार्रवाई की मांग कर रहे हैं। यह घटना पुलिस की निष्क्रियता और कानून व्यवस्था पर सवाल खड़े करती है, क्योंकि घटना के आठ दिन बीत जाने के बावजूद कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई है। साथ ही, यह मामला पुलिस प्रशासन के लिए एक बड़ी चुनौती है कि वह कैसे इस तरह की हिंसक घटनाओं पर तुरंत कार्रवाई करे और पीड़ितों की सुरक्षा सुनिश्चित करे।