सामाजिक परिवर्तन के नायक हैं मुख्यमंत्री नीतीश कुमार : डॉ. अशोक चैधरी

  • होली-दिवाली की तरह धूमधाम से जदयू मनाएगी बाबा साहेब की जयंती : डॉ. अशोक चैधरी
  • दलित-महादलितों को मुख्यधारा में नहीं लाना चाहती भाजपा: डॉ. अशोक चैधरी

पटना। जदयू के वरिष्ठ नेता व भवन निर्माण मंत्री डॉ. अशोक चैधरी ने पार्टी कार्यालय में आयोजित प्रेसवार्ता को संबोधित करते हुए कहा कि दलितों के लिए जितना मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने काम किया उतना किसी दलित मुख्यमंत्री ने भी नहीं किया। उन्होंने दलित, महादलित समुदाय की जातियों को आर्थिक, सामाजिक एवं राजनीतिक रूप से मजबूत बनाने के लिए बिहार की सत्ता संभालने के बाद दिन-रात काम किया और अब भी कर रहे हैं। मुझे गर्व है कि हम एक ऐसे नेतृत्व के साथ काम कर रहे हैं जो दलितों के बारे में सोचती है। जबकि भाजपा दलित-महादलितों को वोट बैंक के रूप में इस्तेमाल तो करना चाहती है लेकिन उनके उत्थान और प्रतिनिधित्व से परहेज करती है। इसका ताजा उदाहरण केंद्र सरकार द्वारा बाबू जगजीवन राम छात्रावास को बंद किया जाना है। वही उन्होंने मौजूदा नीतीश सरकार को दलितों के प्रति एक समर्पित सरकार बताते हुए कहा कि जब नीतीश कुमार सत्ता में आये थे तब बिहार का बजट महज 32 हजार करोड़ था, जबकि इस बार का बजट दो लाख 62 हजार करोड़ रुपए के आसपास है।

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व में प्रदेश भर के महादलित टोलों में 25000 स्कूलों का निर्माण, हर घर तक बिजली और पानी की उपलब्धता सुनिश्चित की। जिस वर्ग के लोग पहले अपनी समस्याओं को लेकर मुखिया या सरपंच के पास जाने से पहले सौ बार सोचते थे, आज नीतीश कुमार ने उन्हें राजनीतिक रूप से सशक्त किया है। जिसका परिणाम है कि अब दलित-महादलित वर्ग का प्रतिनिधित्व तेजी से बढ़ रहा है। वही आगे डॉ. चैधरी ने कहा कि जदयू द्वारा 13 अप्रैल को राज्यभर के हर गांव के प्रत्येक मोहल्ले में दीप जलाकर डॉ. अंबेडकर को नमन किया जाएगा। जबकि 14 अप्रैल को होली-दिवाली की तरह ही बाबा साहेब की जयंती पूरे धूमधाम से मनायी जाएगी। अंबेडकर के विचारों को जन-जन तक पहुंचना आज के समय की जरूरत है। उन्होंने मौजूद सरकार को डॉ. भीमराव अंबेडकर के विचारों पर चलने वाली सरकार बताया। वही इस कार्यक्रम में विधानपार्षद सजंय कुमार सिंह, विधान पार्षद व पार्टी के कोषाध्यक्ष ललन कुमार सर्राफ, माननीय विधायक अमन भूषण हजारी, मा. विधायक कौशल किशोर, पूर्व मंत्री रमेश ऋषिदेव, पूर्व मंत्री मुनेश्वर चैधरी आदि उपस्थित रहे।

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