खबर पढ़कर चौंक जाएंगे : पटना में बैठकर साइबर अपराधी देश भर में ऐसे कर रहे थे ठगी, दो लड़की समेत 5 गिरफ्तार

पटना। राजधानी पटना में किराए पर 2बीएचके के एक फ्लैट से ठगी का धंधा चला रहे साइबर अपराधी गिरोह का पत्रकार नगर पुलिस ने भंडाफोड़ किया है। इस मामले में दो लड़कियों समेत 5 को गिरफ्तार किया है। पुलिस की टीम जब इस अड्डे पर छापेमारी करने पहुंची तो ऐसा लगा जैसे किसी कंपनी का आॅफिस हो। लेकिन साइबर अपराधी वहां से बैठकर बिहार ही नहीं बल्कि देश भर के लोगों को उनके मोबाइल नंबर पर कॉल कर ठगी करते थे। उन्हें ईमेल भेजा जाता था, एसएमएस किया जाता था और व्हाट्सऐप पर भी मैसेज भेजा जाता था। थानेदार ने अपने बयान पर एफआइआर दर्ज कर इन्हें जेल भेज दिया है।
सैलरी पर किया था लड़कियों को हायर
पत्रकार नगर के थानेदार मनोरंजन भारती ने सबसे पहले नालंदा जिला के कतरीसराय थाना क्षेत्र के कतरडीह गांव के रहने वाले गुलशन कुमार और सरल सुमन शेखर उर्फ कुणाल कुमार को पकड़ा। इन दोनों पर पुलिस को संदेह था। पूछताछ में पुलिस टीम इनके निशानदेही पर कंकड़बाग वृंदावन नेत्रालय के पास पहुंची। वहां हाउस नंबर 31 में थर्ड फ्लोर पर गई। दोनों शातिरों ने इस फ्लैट को किराए पर ले रखा था। इसमें आॅफिस की तरह टेबल और चेयर लगा था। यहां से बैठकर सोनू कुमार, नेहा रानी और स्मिता कुमारी कॉल और मैसेज के जरिए देश भर के लोगों को अपनी ठगी का शिकार बनाते थे। लोगों को किया जाने वाला कॉल और उन्हें भेजा जाने वाला मैसेज लोन, पर्सनल लोन, होम लोन, बिजनेस लोन और इंस्टेंट लोन के नाम पर किया जाता था। अच्छे प्लान के आॅफर्स देकर लोगों से ठगी की जाती थी। जो लोग साइबर अपराधियों के झांसे में आए, उनसे प्रोसेसिंग फीस, जीएसटी और इंश्योरेंस के नाम पर मोटी रकम की ठगी की जाती थी। पुलिस ने इन तीनों को भी गिरफ्तार कर लिया। पूछताछ में दोनों लड़कियों ने बताया कि 25 से 30 हजार की सैलरी पर उन्हें गुलशन और कुणाल ने हायर किया था।
186 पन्नों का मिला डॉक्यूमेंट्स, तय था टारगेट
थानेदार के अनुसार, इन अपराधियों के पास से 186 पन्नों का एक डॉक्यूमेंट मिला है। इसमें मणिपुर, ग्वालियर, दारसी, मुम्बई, शिलांग, हैदराबाद, खलीलाबाद सहित देश के अलग-अलग शहरों के रहने वाले हजारों लोगों का नाम, मोबाइल नंबर, उनकी ईमेल आईडी के साथ-साथ किसकी कितनी सैलरी है? वो भी लिखा हुआ है। इस पेपर को मोटी रकम देकर गैंग के सरगना ने खरीदा था। एक व्यक्ति हर दिन 100 लोगों को कॉल और मैसेज भेजता था। इनका टारगेट तय किया हुआ था। बजाज फाइनांस के नाम पर ठगी के इस खेल को चलाया जा रहा था।
8 हजार में सिम कार्ड तो 1 लाख में खरीदा बैंक अकाउंट
इन शातिरों के पास से पुलिस ने 1 लाख रुपये कैश, 1 बाइक, कुल 12 मोबाइल, 5 एटीएम कार्ड, एक प्रिंटर और एक शराब की बोतल बरामद किया है। शातिरों से हुई पुलिस की पूछताछ और आगे की पड़ताल में पता चला कि कॉल और मैसेज के लिए जिन मोबाइल नंबरों का इस्तेमाल किया जा रहा था। वो फर्जी नाम-पते पर खरीदे गए थे। अधिकांश सिम कार्ड पश्चिम बंगाल से खरीदे गए हैं। फर्जी नाम-पता वाले एक सिम कार्ड को 8 हजार रुपए की कीमत देकर खरीदा गया था। इसी तरह फर्जी नाम-पते पर एटीएम सहित सभी बैंक अकाउंट को 60 हजार से लेकर 1 लाख रुपए तक की कीमत देकर इन शातिरों ने खरीदा था। ठगी के रुपए इन्हीं अकाउंट्स में मंगाए जाते थे। जिस व्यक्ति से लोन देने और उसके प्रोसेसिंग चार्ज के नाम पर रुपए ठगे जाते थे, उनका मोबाइल नंबर भी रुपए आते ही ब्लॉक कर दिया जाता था।

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