बैंकों के निजीकरण के खिलाफ हड़ताली कर्मियों के समर्थन में उतरी सीपीआईएम, एकजुटता प्रकट की

पटना। सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के निजीकरण करने के मोदी सरकार के फैसले के खिलाफ बैंक अधिकारियों-कर्मचारियों के संगठनों के संयुक्त आह्वान पर दो दिवसीय देशव्यापी हड़ताल के दूसरे दिन सीपीआईएम के केंद्रीय कमिटी सदस्य अरुण मिश्रा, विधायक दल के नेता अजय कुमार, जिला सचिव मनोज कुमार चंद्रवंशी ने मंगलवार को विभिन्न बैंकों में जाकर हड़ताल का समर्थन किया और हड़तालियों के साथ एकजुटता प्रदर्शित की।
मौके पर विधायक दल के नेता अजय कुमार ने कहा कि मोदी सरकार का आईडीबीआई सहित दो अन्य सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के निजीकरण का प्रस्ताव जन विरोधी और देश विरोधी प्रस्ताव है। उन्होंने कहा कि गांव-गांव तक फैले बैंकों की शाखाओं ने ग्रामीण अर्थव्यवस्था व कृषि क्षेत्र के विकास में अहम योगदान किया है। बैंक राष्ट्रीयकरण ने वर्गीय बैंकिंग की अवधारणा को जन बैंकिंग में बदलने का काम किया है। आज जब देश आर्थिक हालात और विकास दर बदतर स्थिति में है तो मोदी सरकार सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों को मजबूत करने के बदले उन्हीं कॉर्पोरेट के हाथों सौंप रही है, जिन्होंने बैंक कर्ज की विशाल राशि को लौटाने की बजाय पचाने का काम किया है। उन्होंने कहा कि पार्टी उनके आंदोलन का समर्थन करते हुए बिहार विधानसभा के अंदर और बाहर आवाज उठाएगी।

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