गोपालगंज में पुलिस और अपराधियों में मुठभेड़, थावे मंदिर के चोर को लगी गोली, मुकुट का हिस्सा बरामद
गोपालगंज। बिहार के गोपालगंज जिले में शनिवार सुबह पुलिस और अपराधियों के बीच हुई मुठभेड़ ने थावे मंदिर चोरी कांड में एक अहम मोड़ ला दिया है। मां थावे भवानी मंदिर में हुई सनसनीखेज चोरी के मामले में पुलिस को बड़ी सफलता हाथ लगी है। इस मुठभेड़ में चोरी कांड का मुख्य आरोपी इस्माइल आलम पुलिस की जवाबी कार्रवाई में घायल हो गया, जबकि मौके से मां के मुकुट के महत्वपूर्ण हिस्से बरामद किए गए हैं। पुलिस का दावा है कि आरोपी की गिरफ्तारी के साथ ही पूरे गिरोह का खुलासा हो गया है और जल्द ही शेष आरोपियों को भी दबोच लिया जाएगा। प्राप्त जानकारी के अनुसार, शनिवार तड़के गोपालगंज पुलिस को गुप्त सूचना मिली थी कि थावे मंदिर चोरी कांड से जुड़ा दीपक राय गैंग का एक सक्रिय सदस्य जिले में मौजूद है और उसके पास चोरी से संबंधित कुछ अहम सामान भी है। इस सूचना के आधार पर पुलिस अधीक्षक अवधेश दीक्षित के निर्देश पर सदर एसडीपीओ के नेतृत्व में एक विशेष जांच टीम (एसआईटी) का गठन किया गया। टीम ने थावे थाना क्षेत्र के रिकी टोला के समीप संदिग्ध की घेराबंदी कर छापेमारी शुरू की। छापेमारी के दौरान खुद को घिरता देख आरोपी इस्माइल आलम ने पुलिस टीम पर फायरिंग कर दी। पुलिस ने पहले उसे आत्मसमर्पण करने की चेतावनी दी, लेकिन जब आरोपी लगातार गोलीबारी करता रहा और पुलिसकर्मियों की जान को खतरा उत्पन्न हो गया, तब आत्मरक्षा में पुलिस को जवाबी कार्रवाई करनी पड़ी। इस कार्रवाई में आरोपी के पैर में गोली लगी, जिससे वह मौके पर ही गिर पड़ा। पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए घायल आरोपी को हिरासत में लिया और इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया। पुलिस के अनुसार, गिरफ्तार आरोपी इस्माइल आलम गाजीपुर-मोतिहारी क्षेत्र का रहने वाला है और फिलहाल शाहपुर थाना क्षेत्र में छिपकर रह रहा था। तलाशी के दौरान उसके पास से मां थावे भवानी के मुकुट के कुछ अहम हिस्से, घटना में इस्तेमाल किया गया मोबाइल फोन और अन्य आपत्तिजनक सामग्री बरामद की गई। बरामद मुकुट के हिस्सों की पहचान मंदिर प्रशासन द्वारा भी की जा रही है। पुलिस अधीक्षक अवधेश दीक्षित ने मीडिया को जानकारी देते हुए बताया कि आरोपी ने पूछताछ के दौरान अपना जुर्म स्वीकार कर लिया है। उसने अपने स्वीकारोक्ति बयान में पूरे गिरोह की गतिविधियों का खुलासा किया है। आरोपी ने बताया कि किसने, कहां और कैसे मंदिर में चोरी की वारदात को अंजाम दिया, चोरी किए गए आभूषण किसे सौंपे गए और शेष जेवरात फिलहाल किसके पास हैं—इन सभी सवालों के जवाब उसने पुलिस को दिए हैं। पुलिस का कहना है कि आरोपी वही व्यक्ति है, जो दीपक राय के साथ मंदिर में घुसकर चोरी करते हुए सीसीटीवी कैमरे में कैद हुआ था। इस कार्रवाई के बाद पुलिस ने अन्य फरार आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए जिले के साथ-साथ आसपास के क्षेत्रों में भी छापेमारी तेज कर दी है। पुलिस अधिकारियों का दावा है कि आरोपी के बयान के आधार पर जल्द ही पूरे गिरोह को सलाखों के पीछे पहुंचा दिया जाएगा और चोरी गए सभी आभूषणों की बरामदगी सुनिश्चित की जाएगी। थावे मंदिर बिहार का एक प्रमुख धार्मिक स्थल है और यहां हुई चोरी की घटना से श्रद्धालुओं में आक्रोश और चिंता का माहौल था। ऐसे में पुलिस की इस त्वरित और साहसिक कार्रवाई से लोगों ने राहत की सांस ली है। स्थानीय लोगों और मंदिर प्रशासन ने पुलिस की तत्परता की सराहना करते हुए उम्मीद जताई है कि जल्द ही पूरा मामला सुलझ जाएगा और मां थावे भवानी का मुकुट अपने मूल स्वरूप में पुनः स्थापित किया जा सकेगा। फिलहाल पुलिस मामले की गहन जांच में जुटी है और मुठभेड़, बरामदगी तथा आरोपी के बयान के आधार पर आगे की कानूनी प्रक्रिया पूरी की जा रही है।


