भाजपा का अतिपिछड़ा विरोधी मानसिकता निकाय चुनाव में हुआ उजागर : उमेश कुशवाहा

पटना। जदयू के माननीय प्रदेश अध्यक्ष उमेश सिंह कुशवाहा जी ने भाजपा नेताओं द्वारा याचिका दायर कर अतिपिछड़ा वर्ग को नगर निकाय में दिए जाने वाले आरक्षण का विरोध करने पर आड़े हाथों लेते हुए कहा कि इस कृत्य से उनकी आरक्षण विरोधी मानसिकता उजागर हो गई है। उमेश कुशवाहा ने कहा कि न्यायालय द्वारा चुनाव प्रक्रिया को रोके जाने के कारण चुनाव में विलंब जरूर हुआ है परंतु अतिपिछड़ा वर्ग के लोगों को चिंता करने की कोई आवश्यकता नहीं है। क्योंकि हमारे सर्वमान्य नेता नीतीश कुमार 2005 में बिहार की बागडोर संभालने के बाद से ही अतिपिछड़ा वर्ग को आर्थिक, सामाजिक एवं राजनीतिक न्याय दिलाने के लिए कृतसंकल्पित रहे हैं। वही, प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि भाजपा के इस कुटिल प्रयास का कोई प्रभाव अतिपिछड़ा वर्ग, अनुसूचित जाति या महिलाओं को नगर निकायों के चुनाव में मिलने वाले आरक्षण पर नहीं पड़ने वाला है। नीतीश कुमार के नेतृत्व में बिहार सरकार पूरी तैयारी के साथ शीघ्र ही सर्वोच्च न्यायालय में संविधान के अनुच्छेद 136 के तहत वर्णित स्पेशल लीव पिटिशन के तहत याचिका दायर करेगी। इस मामले में निश्चित ही हमारी जीत होगी ओर भाजपा की साजिश को तार-तार किया जाएगा। उमेश कुशवाहा ने कहा कि नीतीश सरकार द्वारा अतिपिछड़ा वर्ग को दिए जाने वाले आरक्षण को सुनिश्चित करते हुए हम शीघ्र ही निकाय चुनाव संपन्न कराएंगे ओर अतिपिछड़ा वर्ग को राजनीतिक न्याय दिलाने को सुनिश्चित करायेंगे। केंद्र की मोदी सरकार जिनके इशारे पर काम करती है उनके अतिपिछड़ा एवं पिछड़ा वर्ग विरोधी रवैये से बिहार की जनता 2015 के विधान सभा चुनाव के समय अवगत हो चुकी है।

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