फुलवारी और सचिवालय स्टेशन के बीच रेल ट्रैक पर मिला इंटर के छात्र की लाश, बोरिंग रोड मे रहकर करता था पढ़ाई

एकलौते बेटे की लाश देख मां-पिता समेत परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल
हत्या हुई है या रेल दुर्घटना, जांच में होगा स्पष्ट


फुलवारी शरीफ (अजीत)। फुलवारी और सचिवालय स्टेशन के बीच बिहटा के माधोपुर गांव निवासी एक नवयुवक इंटर में पढ़ने वाले 18  वर्षीय छात्र की लाश रेल के पटरी पर मिला है, जो पाटलिपुत्रा में मामा संजीत कुमार पाण्डेय उर्फ़ टुनटुन पाण्डेय के घर रहकर पढ़ाई करता था। घर से अपने कॉलेज पोस्टल पार्क के टीपीएस कॉलेज ऑटो से जाने के लिए निकला विशाल हंस ( 18 साल ) जब काफी देर बाद घर नहीं लौटा तो परिजनों ने उसके मोबाईल पर कॉल किया तो जीआरपी ने कॉल रिसीव कर उसके लाश मिलने की जानकारी दी, तब परिजनों में चीत्कार मच गया। परिजनों ने उसकी हत्या कर लाश को रेल ट्रैक पर फेंक देने की आशंका जाहिर किया है, क्योंकि शव पर न कटे का निशान है, न हीं कुछ बड़ा जख्म के निशान, केवल उसके सर और चेहरे पर चोट के निशान पाए गये हैं। घटना स्थल पर पहुंची पटना जीआरपी विशाल की लाश को कब्जे में ले ली है। रेल पुलिस को उसका मोबाईल भी मिला है, जो सिक्योरिट लॉक के चलते नहीं खुल पाया है। परिजनों ने बताया कि विशाल की लाश का पोस्टमार्टम शुक्रवार को कराया जायेगा। इंटर के छात्र की हत्या हुई है या उसकी रेल दुर्घटना में मौत हुई है, इसका पता अब अनुसन्धान में ही स्पष्ट हो पायेगा। परिजन देर रात जीआरपी पटना में मामला दर्ज करने में लगे थे। बोरिंग रोड जीडी मिश्रा पथ में नाना रमेश कुमार पाण्डेय के घर विशाल हंस की लाश मिलने की खबर से कोहराम मचा हुआ है। वहीं परिजनों ने बताया कि इंटर की पढ़ाई के लिए जब टीपीएस में विशाल का एडमिशन हुआ था तो वह नाना के घर पटना में रहने आया था, क्या पता था कि उसकी यहां हत्या हो जाएगी। मृतक अपने माता-पिता का एकलौता पुत्र था। वहीं एकलौते बेटे की लाश मिलने के बाद रोते बिलखते परिजन पटना पहुंचे।
कॉल से रात में देर देर तक बतियाता था, लॉक मोबाईल से खुल सकता है राज

पटना के टीपीएस कौलेज में पढने वाला विशाल हंस गुरूवार की सुबह अपने नाना के घर बोरिंग रोड जीडी मिश्र पथ से यह कहकर निकला था कि कॉलेज में किसी काम से जा रहा है और जल्द ही आ जायेगा। पहले भी विशाल कॉलेज ऑटो से ही जाता था। मृतक के मामा संजीत कुमार पाण्डेय उर्फ़ टुनटुन पाण्डेय ने रोते हुए बताया कि सुबह कॉलेज जाने के लिए निकला तो उसकी लाश फुलवारी और सचिवालय हॉल्ट के बीच रेल ट्रैक पर कैसे बरामद हुआ। विशाल के मोबाईल से भी उसकी हत्या का राज खुल सकता है। जीआरपी को उसके पाॅकेट से जो मोबाइल मिला है, वह लॉक था जिसे टेक्निकल एक्सपर्ट सेल के द्वरा खोले जाने के बाद ही पता चलेगा कि उसकी बातचीत किन-किन लोगो से हो रही थी। मामा ने बताया कि उनका भांजा रात में देर-देर तक बतियाते रहता था लेकिन उसकी बातचीत किससे होती थी, उन्हें नहीं मालूम। इस मामले में किसी प्रेमिका या लड़की की इंट्री से भी इंकार नहीं किया जा सकता है। पुलिस को हर पहलु को ध्यान में रखकर तहकीकात करना चाहिए, ताकि मौत का राज का जल्द खुलासा हो सके। परिजन यह नहीं बता पा रहे हैं कि आखिर विशाल का कॉलेज टीपीएस कॉलेज पोस्टल पार्क में है तो वह फुलवारी और सचिवालय रेल ट्रैक की ओर कैसे चला गया। परिजनों ने इससे साफ़ इंकार किया है कि उसकी दुुर्घटना में मौत हो गयी है। परिजनों का साफ़ कहना है कि उसकी हत्या कर किसी ने लाश को रेल ट्रैक पर फेंक कर दुर्घटना की साजिश रचने की कोशिश किया है। मामा ने बताया कि विशाल की लाश मिलने के बाद जीआरपी थाना में मामला दर्ज करा दिया गया है।

एकलौते बेटे की लाश देख माता पिता बेहोश, बहन और परिवारजनों का रो-रो कर बुरा हाल

बिहटा के माधोपुर अपने गांव से इंटर में टीपीएस कॉलेज में पढने नाना के घर आया था विशाल। विशाल हंस ( 18 साल ) का घर बिहटा के माधोपुर में है जहां उसके पिता सुशिल तिवारी किसान है। विशाल अपने माता-पिता का एकलौता पुत्र था। विशाल की मां नीतू देवी बेटे की लाश देख पछाड़ खाकर बेहोश हो गयी, वहीं छोटी बहन छवि भारती का रो रोकर बुरा हाल हो रहा था। पिता सुशील तिवारी, मामा टुनटुन पाण्डेय, नाना रमेश कुमार पाण्डेय समेत परिवार के लोगों का हाल बेसुध हो गया था। कोई भी कुछ बता पाने की स्थिति में नहीं थे। परिवार की महिला विलाप करते हुए उसकी हत्या की बात कह रहती थी।

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