December 17, 2025

पूर्णिया में इंस्टाग्राम रील को लेकर दो पक्षों में हिंसक झड़प, लाठी-डंडे से मारपीट, 10 घायल

पूर्णिया। जिले के मीरगंज इलाके में कथित तौर पर सोशल मीडिया पर एक वीडियो को लेकर शुरू हुआ विवाद बड़े हंगामे और हिंसक झड़प में तब्दील हो गया। मामूली ऑनलाइन टिप्पणी से उपजा यह तनाव इतनी गंभीर स्थिति तक पहुंच गया कि दोनों पक्षों के लोग आमने-सामने आ गए और लाठी-डंडों तथा लोहे की रॉड से एक-दूसरे पर हमला करने लगे। इस झगड़े में करीब 10 लोग घायल हुए हैं, जिनमें तीन की हालत गंभीर बताई जा रही है। घटना बहेलिया स्थान चौराहे के पास घटी। मामले की पृष्ठभूमि 18 अगस्त से जुड़ी है, जब रंगपुरा दक्षिण गांव के एक युवक ने अपनी थार गाड़ी के साथ एक वीडियो बनाया और उसे फेसबुक व इंस्टाग्राम पर अपलोड कर दिया। देखते ही देखते यह वीडियो चर्चा में आया। इसके बाद 24 अगस्त को विरोधी पक्ष से संबंधित कुछ युवाओं ने उस वीडियो पर आपत्तिजनक टिप्पणी और गाली-गलौज वाला नया वीडियो पोस्ट कर दिया। इसी से विवाद बढ़ा और दोनों गुटों के बीच तनाव गहराने लगा। 25 अगस्त को यह तनाव खुले तौर पर टकराव में बदल गया। पीड़ित पक्ष के अनुसार उनका भाई शाम पांच बजे बहेलिया स्थान गया था, तभी रंगपुरा के कुछ युवक वहां पहुंचे और उसे घेरकर बेरहमी से पीटा। न केवल उसकी पिटाई हुई, बल्कि हथियार का भय दिखाकर उससे पाँच हजार रुपये भी जबरन ले लिए गए। जब शोरगुल सुनकर परिजन पहुंचे तो पहले से मौजूद 30-40 युवकों ने उन पर भी हमला बोल दिया। इस दौरान लोहे की रॉड से वार कर एक युवक को गंभीर रूप से घायल कर दिया गया। वहीं दूसरे पक्ष की कहानी अलग है। उनका कहना है कि फेसबुक और इंस्टाग्राम पर गाली-गलौज और अपमानजनक टिप्पणियों से विवाद शुरू हुआ था। उनका आरोप है कि वे तो बाजार में सामान खरीदने गए थे, लेकिन अचानक विरोधी गुट ने उन पर हमला कर दिया। दोनों पक्षों की इस परस्पर आरोप-प्रत्यारोप की श्रृंखला ने इलाके में तनाव का माहौल पैदा कर दिया। मारपीट की सूचना मिलते ही मीरगंज थाने के थानाध्यक्ष रोशन कुमार सिंह भारी पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंचे। पुलिस ने स्थिति को नियंत्रित करते हुए घायलों को स्थानीय लोगों की मदद से नजदीकी अस्पताल पहुंचाया, जहां सभी का इलाज चल रहा है। गंभीर घायलों को विशेष देखरेख में रखा गया है। फिलहाल पुलिस ने दोनों पक्षों से लिखित बयान दर्ज कर लिया है और प्राथमिकी भी दर्ज की जा चुकी है। मामले की गहन जांच शुरू कर दी गई है। एहतियातन पूरे क्षेत्र को पुलिस छावनी में तब्दील कर दिया गया है ताकि कोई अप्रिय घटना दोबारा न हो। यह पूरा मामला दिखाता है कि किस तरह सोशल मीडिया पर छोटी-सी बहस भी जब व्यक्तिगत और सामुदायिक भावना से जुड़ जाती है, तो वह हिंसा तक पहुँच सकती है। पुलिस ने शांति और क़ानून व्यवस्था बहाल कर दी है, लेकिन यह घटना एक गंभीर चेतावनी भी है कि सोशल मीडिया पर संयम और जिम्मेदारी का व्यवहार न बरतने से समाज में कितना बड़ा टकराव खड़ा हो सकता है।

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