PATNA : रूक्मणी बिल्डटेक के 5 निदेशको समेत 23 खरीददारो पर अवैध कब्जे का मुकद्दमा

पटना। संपतचक नगर परिषद वार्ड 14 के अन्तर्गत एकतापुरम (भोगीपुर) मे रूक्मणी बिल्डटेक द्वारा निर्माणाधीन अपार्टमेन्ट परिसर छत्रपति शिवाजी ग्रीन्स के 23 खरीददार पर निर्माणाधीन अपार्टमेन्ट परिसर के फ्लैट पर अवैध तरीके से कब्जे का मुकद्दमा दर्ज कराया गया है। वही इस संदर्भ मे पीड़ित भूस्वामी नागेश्वर सिंह स्वराज के अधिवक्ता सत्यप्रकाश नारायण ने बताया कि पटना उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश संजय करोल के निर्देश पर बहाल आर्बिट्रेटर व पूर्व न्यायाधीश वी।एन। सिन्हा ने रिक्वेस्ट केस संख्या- 68/2019 मे 3 जुलाई 2022 को दिये गए अपने ऐतिहासिक फैसले मे कहा है कि रूक्मणी बिल्डटेक के द्वारा बेचे गये किसी भी फ्लैट खरीददार के पास वैध पंजीकृत दस्तावेज नही है। बिल्डर द्वारा बेचे गये हरेक फ्लैट के पंजीकृत दस्तावेज पर भू-स्वामी का हस्ताक्षर व सहमति जरूरी है। ऐसा नही करने पर इसे गैर-कानूनी व अवैध कब्जा समझा जायेगा।

वही आगे अधिवक्ता सत्यप्रकाश नारायण ने बताया कि इस फैसले के बाद पीड़ित भू-स्वामी ने बार-बार फ्लैट खरीददारगण से सहानुभूतिपूर्वक आग्रह किया कि वे हमसे सहमति वाला दस्तावेज पर साथ दोबारा रजिस्ट्री करवा लें, लेकिन पीड़ित भू-स्वामी के सहानुभूतिपूर्वक आग्रह का फ्लैट खरीददारो पर कोई असर नही हुआ उल्टे भू-स्वामी को ही गैर-कानूनी तरीके से साजिश व षडयंत्र रच कर प्रताड़ित करने लगे व फर्जी मुकदमे मे फसाने लगे। तब पीड़ित भू-स्वामी ने 9 मई को माननीय न्यायालय पटना के समक्ष रूक्मणी बिल्डटेक के 5 निदेशको समेत ए। श्रीनिवास सी- 406, धर्मेन्द्र कुमार बी- 204, रमन कुमार डी- 503, पुनम ठाकुर एफ-705, मृगराज बी- 503, मृगनयनी ई- 202, मालती देवी ई- 608, रानी कुमारी सी- 502, अजीत कुमार सी -102, धीरेन्द्र कुमार सी- 606, रीतू दुबे सी- 109, कविता टीकमाणी ई- 608, डा बीरेन्द्र कुमार एफ- 404 के खिलाफ गुहार लगाकर दस्तावेजी साक्ष्यो के साथ अपनी बातो को रखा। तत्पश्चात मंगलवार को सभी दस्तावेज व साक्ष्य के अवलोकन के पश्चात लंबी बहस के बाद अवर न्यायाधीश प्रथम, पटना व्यवहार न्यायालय ने पीड़ित के मुक़दमे के आधार को प्रथम दृष्टया सही मानते हुए अगली तिथि को सुनवाई हेतू स्वीकार कर लिया है।

About Post Author

You may have missed