PATNA : गाजे बाजे के साथ मां दुर्गा की प्रतिमा का हुआ विसर्जन, फुलवारी में कांधे पर विसर्जन को निकली बड़ी देवी जी

पटना,फुलवारीशरीफ(अजीत)। फुलवारीशरीफ परसा बाजार रामकृष्णानगर जगनपुरा संपतचक गौरीचक बेलदारीचक समेत आसपास के तमाम शहर व ग्रामीण इलाकों में स्थापित मां दुर्गा की प्रतिमा का विसर्जन गाजे-बाजे के साथ किया गया। इस बार थाना पुलिस ने पूरी मुस्तैदी दिखाई और तमाम शहर व गांव की प्रतिमाओं को क्रमवार फुलवारी प्रखंड तालाब खगौल लख पुनपुन नदी घाट पर विसर्जित कराया गया। वही इस विसर्जन में नौजवान बैंड बाजा एवं डीजे पर थिरकते नजर आए। वही इससे पहले महानवमी को कन्या पूजन विधि विधान से तमाम पूजा पंडालों में सम्पन्न कराया गया। फुलवारीशरीफ में दुर्गास्थान बड़ी देवी जी के प्रतिमा देखने आने वाले श्रद्धालुओं के लिए 108 मां वैष्णो सेवा समिति द्वारा भव्य भंडारा का आयोजन किया गया। इस भंडारे के आयोजन में मुख्य रूप से नितीश कुमार, दांगी सतीश कुमार, दर्शन स्वर्णकार समेत अन्य लोग शामिल होकर अपनी सेवा दी। वही परसा बाजार बेउर कुरथौल एतवारपुर सिपारा सुईथा पलंगा गंज पर सकरैचा समेत आसपास के इलाकों के पूजा पंडालों से मां दुर्गा की प्रतिमाओं को पुनपुन नदी घाट पर विसर्जन कराया गया। गौरीचक पुनपुन नदी घाट पर गौरीचक फतेहपुर लखीमपुर संपतचक सहित दर्जनों गांव के लोग अपनी-अपनी गांव में स्थापित मां दुर्गा की प्रतिमाओं को लेकर गौरीचक पुनपुन नदी में प्रतिमा का विसर्जन किया।

पटना के फुलवारीशरीफ पेठिया बाजार स्थित शहर की बड़ी देवी जी कांधे पर विसर्जन को निकली तो पूरा माहौल माता के जयकारे से गुंजायमान हो गया। फुलवारी में बड़ी देवी जी के विसर्जन के लिए 32 कहार बुलाये गए थे। कहारों के साथ श्रद्धालुओं की भीड़ भी अपने कांधे पर मां दुर्गा की प्रतिमा को विसर्जन को लेकर निकलते हैं। जो बड़ा आकर्षण का केंद्र बना रहता है। वही इस नजारे को देखने के लिए हजारों की संख्या में दूर-दराज के गांव से लोग यहां पहुंचते हैं । वहीं इस दौरान श्रद्धालु मां दुर्गे के जयकारे लगाते तिवारी सिर्फ प्रखंड मुख्यालय घाट पर विसर्जन के लिए पहुंचते हैं। वही लोगों का यह मानना है कि यह परंपरा वर्ष 1925 से चली आ रही है जो आज तक लोगों ने कायम रखा है। यहां बड़ी देवी जी की प्रतिमा का स्थापना फुलवारीशरीफ के प्रसिद्ध स्वतंत्रता सेनानी मोतीलाल ने शुरू कराया था। इस वर्ष पूजा में दूरदराज ग्रामीण क्षेत्रों से आए 32 कहारों ने मिलकर मां दुर्गा की प्रतिमा को अपने कंधे में लेकर नगर परिक्रमा के बाद प्रखंड परिसर स्थित तालाब में विधि पूर्वक इस का विसर्जन किया। इस दृश्य को देखने के लिए दूरदराज ग्रामीण क्षेत्रों से महिला पुरुष एवं बच्चे विसर्जन पूजा में शामिल हुए।

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