विधानसभा उपाध्यक्ष महेश्वर हजारी ने पद से दिया इस्तीफा, सचिवालय से नोटिफिकेशन जारी

  • महेश्वर हजारी बोले- पार्टी के लिए सदैव खड़ा रहूंगा, जो नीतीश बोलेंगे वह करूंगा, मंत्री बनाए जाने की चर्चा

पटना। विधानसभा में विपक्ष की तरफ से दलित के अपमान पर जारी हंगामे के बीच उपाध्यक्ष महेश्वर हजारी ने बुधवार को अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। विधानसभा सचिवालय की तरफ से इस संबंध में नोटिफिकेशन भी जारी कर दिया गया है। मंगलवार को जब सदन में बीजेपी विधायक की ओर से दलित विधायक के अपमान का मुद्दा विपक्ष ने उठाया था, तब अध्यक्ष की कुर्सी पर उपाध्यक्ष ही बैठे हुए थे। हालांकि, महेश्वर हजारी ने किसी भी तरीके की कोई नाराजगी को खारिज कर दिया है। इस्तीफा के बाद विधानसभा के पूर्व उपाध्यक्ष महेश्वर हजारी ने कहा कि उन्होंने स्वेच्छा से इस्तीफा दिया है । नीतीश कुमार से बात करने के बाद ही उन्होंने अपना इस्तीफा दिया है। कहीं कोई नाराज़गी नहीं है। पार्टी के समर्पित सिपाही हैं। अलाकमन का जो निर्णय होगा उसका हम पालन करेंगे। पार्टी जो फैसला करेगी वह हम मानेंगे। इस बीच चर्चा तेज है कि नीतीश कुमार के कैबिनेट में उन्हें जगह दी जा सकती है। अटकलें समस्तीपुर से उन्हें लोकसभा का उम्मीदवार बनाए जाने की भी है।
पार्टी के लिए हर दिन एक पैर पर खड़ा रहने वाला सिपाही हूं
मंत्री या लोकसभा कैंडिडेट बनाए जाने के सवाल पर महेश्व हजारी ने कहा कि पार्टी के समर्पित सिपाही हैं। सब दिन एक पैर पर पार्टी के लिए खड़ा रहा हूं। पार्टी जो भी निर्णय करेगी गंभीरता से हम उसको निभाने की कोशिश करेंगे। नाराजगी की किसी बात को भी उन्होंने सीधे तौर पर खारिज कर दिया उन्होंने कहा कि अल्लाह कमान से बात करने के बाद ही उन्होंने इस्तीफा दिया है वहीं लोकसभा चुनाव लड़ने के सवाल पर उन्होंने कहा कि आलाकमना का जो निर्णय होगा वह हम पालन करने के लिए तैयार है।
स्पीकर विवाद में अवध बिहारी चौधरी को दिया था करारा जवाब
एनडीए की सरकार बनने के बाद जब स्पीकर अवध बिहारी चौधरी ने इस्तीफा देने से इंकार किया था तब सरकार की तरफ से महेश्वर हजारी ने ही मोर्चा संभाला था। इन्होंने दो टूक कहा था कि अविश्वास प्रस्ताव के संकल्प के बाद उन्हें आसन छोड़ना ही पड़ेगा । अपने आलाकमान के दिशा-निर्देश पर वे काम कर रहे हैं। उन्होंने सरकार का मजबूती से बचाव किया था इसके बाद उन्होंने अपने कौशल से बजट सत्र के शुरुआत और स्पीकर के बदलने की प्रक्रिया को संभाला था।
2021 में बने थे उपाध्यक्ष, मंत्री भी रह चुके हैं
महेश्वर हजारी 2021 में विधानसभा के अध्यक्ष बने थे। इनमें और राजद के भूदेव चौधरी का मुकाबला था। लेकिन, आखिरी समय में विपक्ष सदन से वाक आउट कर गया था। इससे पहले वे नीतीश कैबिनेट में नगर विकास एवं आवास विभाग, भवन निर्माण विभाग, योजना एवं विकास विभाग ,उद्योग विभाग आदि के मंत्री भी रह चुके हैं।
चार बार विधायक और एक बार के सांसद हैं
महेश्वर हजारी की पहचान जमीन से जुड़े हुए नेता की हैं। वे कल्याणपुर (अ०जा०) विधानसभा क्षेत्र से चौथी बार विधायक चुने गए हैं। वे यहां से फरवरी, 2005 नवम्बर, 2005 नवम्बर, 2015, नवम्बर, 2020 में चार बार विधानसभा का चुनाव जीता है। इसके अलावा 2009 में एक बार समस्तीपुर लोकसभा क्षेत्र के सांसद भी रहे हैं। राजनीतिक परिवार से ताल्लुक रखने वाले हजारी के पिता राम सेवक हजारी भी कई बार विधायक और सांसद रहे। पूर्व केंद्रीय मंत्रीय रामविलास पासावान के भी ये कीरीबी रिश्तेदार हैं।

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