विपक्ष पर सीएम का हमला, नीतीश बोले- पीएम की मां पर टिप्पणी अशोभनीय, हम निंदा करते हैं
पटना। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मां के खिलाफ अभद्र भाषा के इस्तेमाल की कड़ी निंदा की है और इस मुद्दे पर विपक्ष पर तीखा हमला बोला है। उन्होंने अपने ट्विटर पोस्ट में स्पष्ट किया कि दरभंगा में वोटर अधिकार यात्रा के दौरान कांग्रेस और राजद के मंच से प्रधानमंत्री मोदी और उनकी स्वर्गीय माता जी को लेकर जिस तरह की भाषा का प्रयोग किया गया, वह अत्यंत अशोभनीय है और इसे किसी भी सूरत में स्वीकार नहीं किया जा सकता। दरभंगा में आयोजित वोटर अधिकार यात्रा के दौरान कांग्रेस और राजद के नेताओं की ओर से प्रधानमंत्री मोदी और उनकी मां पर आपत्तिजनक टिप्पणी की गई, जो कई नेताओं को अत्यंत अखर गई। इस बयान के बाद बिहार की राजनीति में हलचल मच गई और सोशल मीडिया सहित सार्वजनिक मंचों पर इसका व्यापक विरोध शुरू हो गया। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने तुरंत प्रतिक्रिया देते हुए विपक्षी नेताओं पर जुबानी हमला किया। उन्होंने अपने ट्वीट में कहा, “माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी और उनकी स्व माता जी के विरुद्ध जिस प्रकार की अभद्र भाषा का प्रयोग किया गया है वह अत्यंत अशोभनीय है और मैं इसकी निंदा करता हूं”। नीतीश ने राजनीति में मर्यादा बनाए रखने पर ज़ोर दिया और दलों से आग्रह किया कि वे विरोध जताते समय व्यक्तिगत और पारिवारिक सम्मान का ध्यान रखें। इस मामले में केंद्रीय मंत्री ललन सिंह ने भी कड़ा बयान दिया। ललन सिंह ने कहा कि दरभंगा रैली में प्रधानमंत्री मोदी और उनकी मां के खिलाफ जिस प्रकार की भद्दी गाली-गलौज और अशोभनीय भाषा का प्रदर्शन हुआ, उसे केवल “सड़क छाप लफंगों का जमात” ही कर सकता है। उन्होंने चेतावनी दी कि इस तरह का आचरण बिहार को फिर से “जंगलराज” के दौर में ले जाने के संकेत देता है, जब लालू-राबड़ी राज में मर्यादा और सामाजिक शिष्टाचार का अभाव था। ललन सिंह ने राहुल गांधी और तेजस्वी यादव से आग्रह किया कि वे अपने समर्थकों द्वारा किए गए अमर्यादित कृत्य के लिए सार्वजनिक रूप से क्षमा मांगें। उन्होंने सवाल उठाया कि क्या ऐसी भाषा और व्यवहार अपनाना वास्तव में बिहार के लिए उचित है। उन्होंने भरोसा जताया कि बिहार की जनता जानती है कि प्रदेश का सही विकास, सम्मान और शांति प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व में ही संभव है। यह घटना बिहार के राजनीतिक परिवेश में मर्यादा, भाषा और व्यक्तिगत सम्मान बनाए रखने के महत्व को रेखांकित करती है। राजनीति में विरोध और असहमति स्वाभाविक है, लेकिन व्यक्तिगत और पारिवारिक जीवन की सीमाओं का सम्मान आवश्यक है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और केंद्रीय मंत्री ललन सिंह जैसी वरिष्ठ हस्तियों की बयानबाजी से यह संदेश साफ है कि राजनीति को सामाजिक मर्यादा के भीतर रहकर ही आगे ले जाना चाहिए। कुल मिलाकर, प्रधानमंत्री मोदी की मां पर विपक्षी नेताओं द्वारा की गई अभद्र टिप्पणी का राजनीतिक गलियारों में तीखा विरोध हो रहा है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार एवं अन्य नेताओं ने मर्यादा और सामाजिक शिष्टाचार बनाए रखने का आह्वान किया है और विपक्षी दलों को अपनी भाषा और आचरण पर पुनर्विचार करने की सलाह दी है, जिससे बिहार में स्वस्थ, सम्मानजनक और विकासशील राजनीतिक संस्कृति का निर्माण हो सके।


