सीता साहू के बेटे ने सोशल मीडिया पर डाला वीडियो, मैं पटना में हूं, कहीं भाग नहीं, प्रशासन की कार्रवाई बिल्कुल गलत

पटना। नगर निगम की मेयर सीता साहू के बेटे शिशिर कुमार को लेकर बिहार की राजनीति और प्रशासनिक गलियारे में इन दिनों काफी हलचल मची हुई है। शिशिर पर वार्ड पार्षद को धमकाने और मारपीट करने का आरोप है, जिसके बाद गांधी मैदान थाने में उनके खिलाफ केस दर्ज किया गया। इसके बाद से ही पटना पुलिस उन्हें गिरफ्तार करने के लिए लगातार प्रयास कर रही है।
वीडियो जारी कर दी सफाई
इस बीच सोमवार को शिशिर कुमार का एक वीडियो सोशल मीडिया पर सामने आया, जिसमें उन्होंने खुद को बेगुनाह बताते हुए कहा कि प्रशासन की कार्रवाई गलत है। वीडियो में शिशिर ने कहा कि वह पटना में ही मौजूद हैं, कहीं भागे नहीं हैं और जब प्रशासन कहेगा, वह सामने हाजिर हो जाएंगे। उन्होंने प्रशासन से आग्रह किया कि पहले सीसीटीवी फुटेज और मीटिंग का फुटेज देख लिया जाए ताकि सच्चाई सामने आ सके। शिशिर ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से भी अपील की कि उनकी सरकार किसी के दबाव में आकर कार्रवाई न करे।
झारखंड में छापेमारी, ससुराल वालों ने लगाए आरोप
पुलिस को शिशिर के मोबाइल लोकेशन से जानकारी मिली थी कि वह झारखंड के गिरिडीह जिले के बगोदर में अपने ससुराल में हैं। इसी सूचना के आधार पर पटना पुलिस ने झारखंड पुलिस के साथ मिलकर सोमवार को बगोदर में छापेमारी की, लेकिन शिशिर वहां नहीं मिले। ससुराल वालों ने पुलिस पर आरोप लगाया कि बिना सर्च वारंट के घर में घुसकर बदसलूकी की गई। परिजनों ने बताया कि पुलिस पहले अशोक मेडिकल हॉल पहुंची और दरवाजा तोड़ने की कोशिश की। फिर बगल के राशन दुकानदार की छत से मेडिकल हॉल के अंदर दाखिल हुई।
महिला पुलिस न होने पर सवाल
शिशिर के ससुराल वालों ने गिरिडीह एसपी से भी इस कार्रवाई की जांच की मांग की है। उनका कहना है कि पुलिस की टीम में महिला पुलिसकर्मी नहीं थीं, जो नियमों के खिलाफ है। वहीं परिवार ने यह भी आरोप लगाया कि पुलिस ने विरोध करने पर धमकी दी और जब परिवार ने मोबाइल से वीडियो बनाने की कोशिश की तो पुलिस ने जबरन वीडियो डिलीट करवा दिया।
पटना में भी हुई छापेमारी
इससे पहले शनिवार रात और रविवार सुबह पटना में भी शिशिर के घर पर छापेमारी की गई थी। इस दौरान मेयर सीता साहू घर पर मौजूद थीं। सीता साहू ने पुलिस की इस कार्रवाई पर कहा था कि यह कार्रवाई पटना नगर निगम में व्याप्त भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने का नतीजा है। उन्होंने कहा कि उनके बेटे को बेवजह फंसाया जा रहा है ताकि वह निगम में जारी अनियमितताओं को उजागर न कर सकें।
पुराने मामलों से भी जुड़ा विवाद
शिशिर कुमार पर पहले से भी कई गंभीर आपराधिक मामले दर्ज हैं। आलमगंज थाना में उन पर हत्या, आर्म्स एक्ट, हत्या के प्रयास और संपत्ति नुकसान पहुंचाने जैसे मामलों में केस दर्ज हैं। कोतवाली थाना में भी उनके खिलाफ केस चल रहा है। ऐसे में उन पर नए मामले में 41 का नोटिस देकर जमानत मिलने की संभावना नहीं है, क्योंकि उनका आपराधिक रिकॉर्ड पहले से ही दागदार रहा है।
निगम में भ्रष्टाचार के आरोपों की आड़ में बचाव की कोशिश
शिशिर कुमार ने अपने वीडियो में खुद को निगम में व्याप्त भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ने वाला बताया और कहा कि नगर निगम में भ्रष्टाचार को किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं करेंगे। उन्होंने दावा किया कि उनके खिलाफ कार्रवाई इसी वजह से की जा रही है ताकि वे निगम में हो रहे घोटालों को उजागर न कर सकें।
पुलिस की सख्ती और परिवार का विरोध
एक तरफ पुलिस शिशिर को पकड़ने के लिए लगातार दबिश दे रही है, वहीं दूसरी तरफ उनका परिवार इस कार्रवाई को गलत बता रहा है। फिलहाल पुलिस का कहना है कि शिशिर की गिरफ्तारी के लिए लगातार प्रयास जारी रहेंगे। उनके वीडियो पर भी पुलिस ने कहा है कि कानून अपना काम करेगा और कोर्ट में जो तथ्य सामने आएंगे, उसी के आधार पर आगे की कार्रवाई होगी।
फिलहाल बढ़ता जा रहा विवाद
पटना नगर निगम की राजनीति और प्रशासनिक तंत्र में यह मामला तूल पकड़ चुका है। आने वाले दिनों में पुलिस और शिशिर कुमार के बीच यह तकरार किस मोड़ पर पहुंचेगी, यह देखना दिलचस्प होगा। फिलहाल पटना पुलिस और झारखंड पुलिस की छापेमारी जारी है और शिशिर को जल्द गिरफ्तार करने के प्रयास किए जा रहे हैं।
