दिव्य दरबार में बागेश्वर बाबा का बड़ा ऐलान, धीरेंद्र शास्त्री बोले- हिंदू राष्ट्र की ज्वाला बिहार से ही जलेगी, हम यहां आते रहेंगे

पटना। बागेश्वर धाम के पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री का पटना के तरेत पाली मठ में लोगों के नाम की पर्चियां निकाल रहे हैं। रविवार को ज्यादा भीड़ के चलते उन्होंने इस कार्यक्रम को कैंसिल करने का फैसला लिया था, लेकिन आज अचानक से धीरेंद्र शास्त्री लोगों की समस्याएं सुन रहे हैं। उन्होंने कहा कि हर किसी की समस्या का समाधान किया जाएगा। धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री ने अपने मंच से कहा कि हिंदू राष्ट्र की ज्वाला बिहार से जलेगी। बिहार के लोग पिछड़े हुए नहीं हैं, वो भक्ति से भरे हैं। बिहार को समझना है तो यहां कुछ दिन गुजरना होगा। साथ ही कहा कि हमारे बाला जी ने हमें ये शक्ति दी है ताकि हम भगवान, संत को नहीं मानने वाले। उन्हें पाखंडी बताने वालों को करारा जवाब दे सके। वही इसके पहले इसके लिए धीरेंद्र शास्त्री होटल पनाश से तरेत के लिए रवाना हो गए हैं। होटल के बार उनके चाहने वाले लोगों की भारी भीड़ उमड़ पड़ी है जबकि तरेज में लाखों लोग अपने बागेश्वर सरकार का सुबह से ही इंतजार कर रहे हैं। पटना के होटल पनाश से निकले बाबा बागेश्वर का बाहर खड़े सैकड़ों लोगों ने गर्मजोशी के साथ स्वागत किया। इस दौरान किसी ने बाबा को गुलाब का फूल दिया तो किसी ने चाकलेट देकर उनका अभिनंदन किया। इस दौरान पटना की सड़कों पर बाबा के समर्थकों की भारी भीड़ उमड़ पड़ी और हर कोई बागेश्वर सरकार की एक झल पाने के लिए उतावला दिखा।
पटना में दिव्य दरबार फिर लगा, रविवार को 100 से ज्यादा भक्त गर्मी की वजह से पड़ गए थे बीमार
उधर, तरेत स्थित कार्यक्रम स्थल पर लाखों लोगों की भारी भीड़ सुबह से ही बागेश्वर सरकार का इंतजार कर रही है। पहले ऐसा कहा जा रहा था कि आज दिव्य दरबार नहीं लगेगा लेकिन बात में दिव्य दरबार के लगने की बात सामने आई। कार्यक्रम स्थल पर पहुंचने के बाद बाबा बागेश्वर लोगों की पर्ची निकालेंगे। इसके बाद शाम हनुमंत कथा की शुरुआत होगी। रविवार को 100 से ज्यादा भक्त गर्मी की वजह से बीमार पड़ गए थे। इसके बाद धीरेंद्र शास्त्री ने कथा 15 मिनट पहले खत्म कर दिया था। उन्होंने कहा था कि कल दिव्य दरबार है। कोई अनहोनी न हो जाए, इसकी मुझे शंका है। भीड़ और गर्मी ज्यादा है। इसे देखते हुए दिव्य दरबार को विराम देना पड़ेगा। अगली बार जब आएंगे तो दिव्य दरबार लगाएंगे। उन्होंने कहा कि जो जहां हैं वहीं रहे। घर पर ही टीवी, यूट्यूब के माध्यम से कथा का श्रवण करें। कथा सबके कल्याण के लिए है।

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