December 10, 2025

सीएए-एनआरसी का विरोध : जब हम पैदा हुए, उसी वक्त हमारा गला घोंट क्यों नहीं दिया गया

शाहीनबाग में एनआरसी विरोधी धरना में चार साल के बच्चे की शहादत पर बिफरा हारून नगर, सैंकड़ो महिलाओं व पुरुषो ने कैंडिल मार्च निकाल दी श्रद्धांजलि
फुलवारी शरीफ। एनआरसी, सीएए व एनपीआर के विरोध में दिल्ली के शाहीन बाग में चल रहे धरना में एक चार साल के मासूम बच्चे मो. जहान की शहादत को सलाम करते हुए हारून नगर के लोगों ने कैंडिल मार्च निकाला। बुधवार की देर शाम हारून नगर व आसपास के इलाके के सैंकड़ों महिलाओं ने गोद में बच्चे लिए कैंडिल मार्च में शिरकत कर अल्लाह से बच्चे की आत्मा की शांति और परिवार को दु:ख सहने की शक्ति प्रदान करने की दुआएं की। हारून नगर निवासी सामाजिक कार्यकर्त्ता मो. नशुर अजमल नुशी ने बताया कि एनआरसी, सीएए व एनपीआर को हम किसी हाल में स्वीकार नही करेंगे, चाहे इसके लिए कितने जहान शहीद हो जाएं। उन्होंने आगे कहा कि बच्चे, बूढ़े, नौजवान सहित पर्दानशी महिलायें, युवतियां, वृद्ध महिलाएं भी लगातार धरना में शामिल होकर अपने जज्बे को जाहिर कर रही हैं। कई महिलाओं ने बताया कि हम और हमारी पुरुखों की कई पीढियां हिन्दुस्तान में पैदा हुए और इसी मिट्टी में दफन हो गये और आज की सरकार तानाशाही करने पर अमादा है। जब हम पैदा हुए थे तो उसी वक्त हमारा गला घोंट क्यों नहीं दिया गया, अब यह कैसी सरकार है जो हमसे हमारे ही देश में नागरिक होने का कागजात मांग रही है। एक वृद्ध पर्दानशी महिला ने कहा कि सरकार चाहे कुछ भी कर ले, हमारा संवैधानिक अधिकार धरना प्रदर्शन करने से नहीं रोक सकती है, मरते दम तक हम विरोध करते रहेंगे। हारून नगर सेक्टर वन के धरना स्थल से निकला कैंडिल मार्च मुख्य सड़क पटना-फुलवारी होकर खोजा इमली मोड़ से हारून नगर सेक्टर 2 होते हुए फुलवारी शरीफ रेलवे स्टेशन के पास पहुंचा और फिर वहां से वापस लौट गया।

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