जल-जीवन-हरियाली : 16 हजार किमी लंबी मानव श्रृंखला का लक्ष्य, तीन वर्षों में 24 हजार 524 करोड़ रुपये किये जायेंगे खर्च : नीतीश
पटना। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सोमवार को कहा कि तेजी से बदलते मौसम के दुष्प्रभावों से मुक्ति पाने के लिए जल-जीवन-हरियाली अभियान को शुरू किया गया है। इसकी महत्ता भी आम लोगों को समझाने की जरूरत है। 19 जनवरी को दिन के 11.30 बजे से 12 बजे तक पुरुष, महिला, युवा सभी को मानव श्रृंखला में शामिल होने के लिए प्रेरित करें। 16 हजार किमी से ज्यादा लंबी मानव श्रृंखला बनाने का लक्ष्य रखा है, आप सब इसमें जरूर शामिल हों। आने वाली पीढ़ी के लिए हम सबको मिलकर काम करना होगा। वे जल-जीवन-हरियाली अभियान यात्रा के क्रम में पटना प्रमंडल की समीक्षा बैठक को संबोधित कर रहे थे। राजधानी के सम्राट अशोक कन्वेंशन सेंटर में आयोजित बैठक में पटना, नालंदा, भोजपुर, कैमूर, बक्सर और रोहतास जिले के शामिल अधिकारियों को मुख्यमंत्री ने कहा कि सार्वजनिक आहर, पईन, पोखरों को अतिक्रमण मुक्त कराना और जीर्णोद्धार कराकर जल संचयन का काम किया जायेगा। इससे भूजल स्तर भी बनाया रखा जा सकेगा। उन्होंने कहा कि जलवायु परिवर्तन के कारण वर्षा में कमी हो रही है। कभी सूखे की स्थिति, तो कभी बाढ़ की स्थिति लगातार बन रही है। आपदा प्रभावित लोगों को तो सरकार मदद कर ही रहे हैं, लेकिन मौसम परिवर्तन पर निरंतर काम करते रहने की जरूरत है। बैठक के दौरान जल-जीवन-हरियाली अभियान के अंतर्गत जो योजनाएं चलायी जा रही हैं, उस पर भी समीक्षा बैठक में चर्चा की गयी।
यहां मौजूद जनप्रतिनिधियों ने भी अपने-अपने अनुभव साझा किये, उसका भी जवाब अधिकारियों की तरफ से दिया गया। कुछ लिखित रूप में भी बातें आयी, जिसे संबंधित विभागों को भेज दी जायेगी। इसमें सात निश्चय के अंतर्गत चलायी जा रही योजनाओं की प्रगति के बारे में भी जानकारी दी गयी है। इस दौरान जनप्रतिनिधियों ने अपने-अपने क्षेत्र की कुछ समस्याओं एवं शिकायतों को मुख्यमंत्री के समक्ष रखा। संबंधित विभाग के अधिकारियों ने उसके संबंध में भी अपनी बातें रखीं। इस पर मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश भी दिये। सीएम ने आगे कहा कि जल-जीवन-हरियाली अभियान के अंतर्गत 11 अवयव हैं। इन पर तीन वर्षों में 24 हजार 524 करोड़ रुपये खर्च किये जायेंगे। जरूरत पड़ने पर अतिरिक्त राशि भी दी जा सकती है। उन्होंने कहा कि इस अभियान के तहत राज्य स्तर पर परामर्शदात्री समिति और जिला स्तर पर जिला परामर्शदात्री समिति का गठन किया गया है। अपने-अपने इलाके में सभी जनप्रतिनिधि इसके लिए लोगों को जागरूक करें। पांच प्रमंडलों की समीक्षा बैठक की जा चुकी है। लोगों में जागृति लाने के लिए जल-जीवन-हरियाली अभियान यात्रा के अंतर्गत जागरूकता सम्मेलन कर रहे हैं।