कोरोना से जंग में पीपीई किट तैयार करने में लगा पूर्व मध्य रेल, अब तक 750 पीपीई किट बनकर तैयार

हाजीपुर। कोविड-19 महामारी को देखते हुए पूर्व मध्य रेल द्वारा प्रतिदिन औसतन 200 पीपीई पोशाक का निर्माण किया जा रहा है और 31 मई तक कुल 30 हजार पीपीई किट तैयार कर लिया जाएगा। कोरोना संक्रमण के मद्देनजर पूरे देश में लॉकडाउन की अवधि को 03 मई तक बढ़ा दिया गया है। ऐसे में लोगों को व्यापक स्वास्थ्य हित को देखते हुए लॉकडाउन के दौरान पैंसेजर ट्रेनों का परिचालन तो बंद है परंतु कोरोना से जंग में पूर्व मध्य रेल पहले मोर्चे पर खड़ी है। इसी कड़ी में कोचों को क्वारंटाइन-आइसोलेशन के रूप बदला गया है तो अब पूर्व मध्य रेलवे ने कोरोना से निपटने के लिए बड़ी पहल की है।

हाल ही में जगाधरी में प्रथम बार पीपीई तैयार किया गया था, जिसे डीआरडीओ ने अपनी स्वीकृति प्रदान की थी। तत्पश्चात भारतीय रेल के अन्य कारखानों को भी इसके निर्माण की जिम्मेवारी दी गयी है। इसी कड़ी में पूर्व मध्य रेल द्वारा पीपीई किट का निर्माण युद्धस्तर पर जारी है। दानापुर मंडल द्वारा प्रतिदिन लगभग 200 पीपीई किट तैयार किए जा रहे हैं। इस प्रकार 16 अप्रैल तक कुल 750 पीपीई किट तैयार किए जा चुके हैं। पूर्व मध्य रेल द्वारा 31 मई तक कुल 30 हजार पीपीई किट तैयार कर लिया जाएगा।
इन पीपीई किट को रेलवे के डॉक्टर, नर्स, पैरामेडिकल स्टाफ को उपलब्ध कराए जा रहे हैं। पूर्व मध्य रेल द्वारा किट का निर्माण बाजार में उपलब्ध पीपीई किट की कीमत की तुलना में आधी कीमत पर बनाए जा रहे हैं । वर्तमान में प्रत्येक पीपीई किट के निर्माण पर लगभग 700 रूपए की लागत आती है जबकि अनौपचारिक आंकड़ों के अनुसार बाजार में इसकी कीमत लगभग दुगुनी है।

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