November 17, 2025

लेखनगर रोड में जलजमाव से परेशान हुए लोग, बोले- समय रहते नगर परिषद जागती तो न होता यह हाल

दानापुर। बिहार के दानापुर नगर परिषद क्षेत्र में स्थित लेखनगर रोड इन दिनों भीषण जलजमाव की समस्या से जूझ रहा है। लगातार हो रही बारिश और नगर परिषद की लापरवाही ने मिलकर इस इलाके की सामान्य दिनचर्या को बुरी तरह प्रभावित कर दिया है। नालों की सफाई न होने और जलनिकासी की कोई ठोस व्यवस्था न होने के कारण सड़कें कीचड़ और बदबूदार पानी से लबालब भरी पड़ी हैं। लोग परेशान और नाराज़ हैं, लेकिन उन्हें राहत मिलती नजर नहीं आ रही।
बदहाल सड़कों पर चलना हुआ मुश्किल
पूरे लेखनगर रोड क्षेत्र में जलजमाव के कारण आवागमन एक बड़ी चुनौती बन गया है। सड़कें जलमग्न हैं और गलियों में घुटनों तक पानी भरा हुआ है। यह पानी सिर्फ बरसात का नहीं, बल्कि नालों का गंदा पानी भी है जो अब सड़कों पर बह रहा है। लोग जूते चप्पल हाथ में लेकर चलने को मजबूर हैं, और कई जगहों पर पैदल चलना भी जोखिम भरा हो गया है। स्कूल, अस्पताल, बाजार और दफ्तर तक पहुंचना भी लोगों के लिए एक मुश्किल काम बन चुका है। बारिश थमने के बावजूद नालों से पानी निकलने की कोई व्यवस्था न होने के कारण जलजमाव बना हुआ है। इलाके में रहने वाले छोटे बच्चे, बुजुर्ग और महिलाएं सबसे अधिक प्रभावित हो रहे हैं।
छात्रों और बच्चों की परेशानी
कक्षा 7 में पढ़ने वाला छात्र अर्णव मिश्रा अपनी पीड़ा को साझा करते हुए कहता है कि उसे रोज स्कूल जाते समय गंदे पानी और कीचड़ से होकर गुजरना पड़ता है। जूते और कपड़े हमेशा गीले और गंदे हो जाते हैं, जिससे कई बार उसे बुखार आ चुका है। वह कहता है कि अब पढ़ाई से ज्यादा डर इस बात का है कि कहीं बीमार न पड़ जाएं। यह स्थिति एक या दो दिन की नहीं बल्कि हफ्तों से जारी है।
नगर परिषद की उदासीनता से नाराज लोग
स्थानीय निवासी सोनू कुमार बताते हैं कि इलाके के लोग कई बार नगर परिषद से नालों की सफाई और जलनिकासी की मांग कर चुके हैं, लेकिन हर बार सिर्फ कागजी कार्रवाई कर ली जाती है। न तो समय पर नाले साफ किए गए, न ही पानी निकासी के लिए कोई मशीन या पंप लगाया गया। अब स्थिति इतनी गंभीर हो चुकी है कि कुछ परिवारों को गांव लौटने के लिए मजबूर होना पड़ा है क्योंकि न तो वे घर से बाहर निकल सकते हैं और न ही जरूरी सामान ला सकते हैं।
अगर समय रहते कार्रवाई होती…
स्थानीय लोगों की शिकायत है कि नगर परिषद ने अगर समय रहते यानी बरसात से पहले ही नालों की सफाई और मरम्मत का काम किया होता, तो आज यह स्थिति नहीं बनती। हर साल यही समस्या होती है, लेकिन नगर प्रशासन केवल आपदा के समय जागता है। समस्या के समाधान की दिशा में कभी भी स्थायी प्रयास नहीं किए जाते। नगर परिषद की यह उदासीनता अब लोगों की नाराजगी में बदलती जा रही है।
स्वास्थ्य और स्वच्छता पर खतरा
जलजमाव से सिर्फ आवागमन ही नहीं, बल्कि स्वास्थ्य पर भी खतरा मंडरा रहा है। गंदा पानी मच्छरों की भरमार को बढ़ावा दे रहा है जिससे डेंगू, मलेरिया और त्वचा संक्रमण जैसी बीमारियों का खतरा बढ़ गया है। बच्चे और बुजुर्ग इसके प्रति अधिक संवेदनशील हैं। इलाके में दुर्गंध फैली हुई है और लोग मास्क पहनकर घर से बाहर निकलने को मजबूर हैं।
प्रशासन से स्थायी समाधान की मांग
लेखनगर के नागरिकों ने जिला प्रशासन और नगर परिषद से मांग की है कि इस समस्या का केवल अस्थायी नहीं, बल्कि स्थायी समाधान निकाला जाए। नालों की नियमित सफाई, जलनिकासी के लिए बेहतर इंफ्रास्ट्रक्चर और बरसात के पहले की तैयारियों को प्राथमिकता दी जाए। लोगों का यह भी कहना है कि अगर नगर परिषद हर साल समय पर यह कार्यवाही करे, तो जनता को इस तरह की समस्याओं से जूझना न पड़े। लेखनगर रोड की जलजमाव की समस्या सिर्फ एक स्थानीय परेशानी नहीं, बल्कि शहरी प्रशासन की लापरवाही का जीवंत उदाहरण है। हर साल बारिश के मौसम में यही हालात बनते हैं, लेकिन प्रशासन इससे सबक नहीं लेता। आम जनता को रोजमर्रा की जिंदगी में संकट का सामना करना पड़ता है। बच्चों की पढ़ाई, बीमारों की चिकित्सा और परिवार की सुरक्षा कुछ प्रभावित हो रहा है। अब समय आ गया है कि प्रशासन इस समस्या को गंभीरता से ले और लोगों को मूलभूत सुविधाएं देने के अपने दायित्व को समझे। जनता को केवल आश्वासन नहीं, कार्य चाहिए। यदि अब भी यह समस्या नहीं सुलझाई गई तो भविष्य में जनाक्रोश और अधिक उग्र रूप ले सकता है।

You may have missed