पटना में ट्रांसपोर्ट फेडरेशन ने दी हड़ताल की धमकी, परमिट संबंधी समस्या के कारण करेंगे आंदोलन
पटना। राजधानी पटना में विगत 20 दिनों से परिवहन आयुक्त के मनमाने रवैया से राज्य के व्यवसायिक वाहन स्वामियों के सामने परमिट संबंधी समस्या उत्पन्न हो गई है। राज्य परिवहन आयुक्त, बिहार पटना द्वारा पूर्व से चले आ रहे परमिट निर्गमण की व्यवस्था में भारी फेर-बदल मनमाने एवं निरंकुश शासक की भांति करते हुए जनता मालवाहक वाहनों के राष्ट्रीय एवं राज्य परमिट निर्गत करने हेतु जिला परिवहन कार्यालय को संभवतः निजी स्वार्थ हेतु दायित्व सौंपा गया है। जिसके बाद अब लाइसेंस प्राप्त करने के लिए ट्रांसपोर्ट मालिकों को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है और परिवहन आयुक्त के आदेश को वापस लेन की मांग की गई है। इस संबंध में बिहार मोटर ट्रांसपोर्ट फेडरेशन का कहना है कि व्यवसायिक वाहन स्वामियों को राज्य परमिट प्राप्त करने हेतु वर्ष 1940 से ही राज्य सरकार द्वारा क्षेत्रीय परिवहन प्राधिकार का गठन किया गया था, जबकि राष्ट्रीय परमिट का निर्गमण राज्य परिवहन प्राधिकार द्वारा किया जाता था। वर्ष 1996 में राज्य के व्यवसायिक वाहनों के राष्ट्रीय परमिट के निर्गमण में सुगमता लाने के उद्देश से राष्ट्रीय परमिट के निर्गमण का कार्य भी क्षेत्रीय परिवहन प्राधिकार को दिया गया, तब से व्यवसायिक वाहनों के स्वामियों को सुगमतपूर्वक क्षेत्रीय परिवहन प्राधिकार द्वारा परमिट उपलब्ध कराया जा रहा है। लेकिन, 23 जनवरी से राज्य के सभी क्षेत्रीय परिवहन प्राधिकारों को जनता मालवाहक के निर्गमण करने पर रोक लगाते हुए जिला परिवहन कार्यालयों को परमिट निर्गमण करने की छुट प्रदान की गई है। जिसके कारण अब लाइसेंस प्राप्त करने में भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।

वही ट्रांसपोर्ट फेडरेशन का कहना है कि डीटीओ के पास पहले से ही बहुत सारे कार्य का दवाब है, ऐसे में विभाग को और जिम्मेदारी सौंप दी गई है। जिससे वहां के कर्मियों पर दवाब बढ़ गया और लाइसेंस जारी करने में लगातार देरी हो रही है। जिला परिवहन कार्यालय में इस संबंध में पुछे जाने पर बताया जाता है कि आरटीए से सम्पर्क करे एवं आरटीए पुछे जाने पर बताया जाता हैं कि इस संबंध में विभाग से कोई लिखित आदेश प्राप्त नहीं है। एक ही कार्यालय में निजी एवं व्यवसायिक वाहनों का कार्य संपन्न कराने से वाहन मालिकों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है तथा मजबूर होकर दलालों के चंगुलों में फसने के लिए विवश होना पड़ रहा है। ऐसे में ट्रांसपोर्ट फेडरेशन ने मांग की है कि क्षेत्रीय परिवहन प्राधिकार को जनता मालवाहक वाहनों के लिएनिर्गमण हेतु छुट प्रदान करने की कृपा की जाए। अगर आदेश वापस नहीं लिया जाता है तो ट्रांसपोर्ट फेडरेशन को हड़ताल पर जाने के लिए मजबूर होना पड़ेगा।

