चंद्रशेखर के विवादित बयान के बाद पूर्णिया में साधु-संत एकजुट, महंतों ने कहा- रामचरित मानस हिंदुओं का सर्वश्रेष्ठ ग्रंथ

पूर्णिया। बिहार के शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर के रामचरित मानस के उपर आलोचना करना और विवादित बयान देने का मामला अब तूल पकड़ने लगे है। बता दे की शिक्षा मंत्री ने हिंदुओं के पवित्र ग्रंथ रामचरित मानस के उपर विवादित बयान देने के बाद पूर्णिया के साधु-संत खुलकर सामने आए है। जिससे ठंड के मौसम में राजनीतिक सियासी गरमाने लगे है। बता दे की पूर्णिया के रजनी चौक स्थित राम जानकी गोकुल कृष्ण ठाकुरबाड़ी मंदिर के महंत संत मुरारी दास सनातनी और अन्य मठ मंदिर के महंत व पुजारियों ने शिक्षा मंत्री के बयान पर जमकर विरोध किया है। वही संत मुरारी दास ने कहा कि रामायण और रामचरित मानस हिंदुओं का सर्वश्रेष्ठ ग्रंथ है। इसका आलोचना करना या अभद्र टिप्पणी करना पाप ही नहीं बल्कि अपराध है। वही उन्होंने कहा कि रामचरित मानस का जिसने भी विरोध किया है जल्द ही उसका सर्वनाश हो जा॓एगा। संतो ने शिक्षा मंत्री के बयान पर आक्रोश व्यक्त किया है। दरअसल पूर्णिया के BJP सदर विधायक विजय कुमार खेमका द्वारा शनिवार को स्थानीय कला भवन में मकर संक्रांति के अवसर पर चूडा दही भोज का आयोजन किया गया था। वही इस भोज में जिले भर के आम नागरिक और साधु संतो को आमंत्रित किया गया था। साधु संतो ने शिक्षा मंत्री के विवादित बयान पर जमकर बरसे। वहीं साधु संतो ने विधायक विजय कुमार खेमका को 2024 में होने वाले लोकसभा चुनाव में उम्मीदवार के रूप में घोषणा भी कर दिए। विजय खेमका ने बताया कि यदि पार्टी टिकट देती है तो वह लोकसभा चुनाव जरूर लडेगें। जब पूर्णिया के JDU सांसद संतोष कुमार कुशवाहा से पूछा गया तो वह कुछ भी कहने से मना कर दिए।

About Post Author

You may have missed