बिहार : सत्ता से जाते ही राजद के बादले सुर, शराबबंदी को लेकर खड़े किए सवाल
पटना/नई दिल्ली। बिहार में सत्ता जाते ही राजद के सुर बदले-बदले से नजर आ रहे है। राजद सांसद ने नीतीश की शराबबंदी पर सवाल खड़े किए है। राज्यसभा में चर्चा के दौरान एडी सिंह ने कहा कि अगर बिहार में शराबबंदी खत्म हो जाए तो विशेष राज्य के दर्जे की जरूरत नहीं पड़ेगी। उन्होंने दावा किया कि प्रदेश में घर-घर में आर्डर पर हर ब्रांड की शराब उपलब्ध है। राजद सांसद ने केंद्र सरकार से इस दिशा में दबाव बनाने की मांग की। राजद सांसद ने आगे कहा कि मुझे लगता है कि अगर बालू माफिया व शराब माफिया दोनों को देखें तो 40 हजार करोड़ के राजस्व का नुकसान उठाना पड़ रहा है। उन्होंने आगे कहा कि एक कमिटी बननी चाहिए, जो बिहार का दौरा कर हकीकत जानें कि क्या बिहार में शराबबंदी लागू है, या शराब घर-घर में मिल रही है।
अप्रैल 2016 में बिहार में शराबबंदी कानून लागू
वही जब 1 अप्रैल 2016 में बिहार में शराबबंदी कानून लागू हुआ था, तब महागठबंधन की सरकार थी। जेडीयू-आरजेडी व कांग्रेस की गठबंधन की सरकार में इसे लागू किया था। उस समय विपक्ष में बैठी भाजपा ने भी समर्थन दिया था लेकिन बाद के दिनों में जो दल विपक्ष में होता है, वह शराबबंदी पर सवाल उठाता रहता है। जीतनराम मांझी तो सरकार में सहयोगी होने के बावजूद इसका विरोध करते हैं। वहीं, अब राजद ने भी इसको लेकर गंभीर सवाल उठाए हैं, जबकि एक हफ्ते पहले तक वह इसकी तरफदारी करता था।


