मोदी सरकार के 9 वर्ष पूरे होने पर पटना में जनसभा का आयोजन, संजीव चौरसिया ने नीतीश सरकार पर माहौल खराब करने का लगाया आरोप

पटना। केंद्र की मोदी सरकार के 9 वर्ष पूरे होने वाले हैं। ‘9 साल बेमिसाल’ के तहत प्रदेश में जनसम्पर्क अभियान चलाए जा रहे है। भाजपा के कार्यकर्ता राज्य के हर जिले में जाकर मोदी के ‘9 साल बेमिसाल’ की उपलब्धियों को गिना रही है। इसी कड़ी में मंगलवार को दीघा विधान सभा कार्यालय में प्रेसवार्ता का आयोजन किया गया। वही इस दौरान दीघा विधायक डॉ. संजीव चौरसिया ने मोदी सरकार और अपने विधान सभा में हुए विकास कार्या की चर्चा करते हुए कहा कि राजीव नगर में मेरे प्रयास से लोगों बिजली कनेक्शन उपलब्ध हो सका। जो कि पूर्व में नया बिजली कनेक्शन लोगों को नहीं मिल पाता था। वही नेपाली नगर में तोड़े गए मकानों के एवज में सरकार द्वारा मुआवजा दिलाने का प्रयास किया, नेपाली नगर, चन्द्र विहार कॉलोनी, गांधी नगर, निराला नगर, घुड़दौड़ रोड, पोलसन रोड में जलजमाव की समस्या को दूर करने के लिए संप हाउस का निर्माण करवाया। राजीव नगर व नेपाली नगर में भी कई छोटी बड़ी सड़कों का निर्माण करवाया। राजीव नगर के लोगों को स्थाई आवासीय प्रमाण पत्र दिलाने का काम किया।

वहीं गठबंधन सरकार के तुष्टीकरण निति का विरोध करते हुए डॉ. चौरसिया ने बताया कि चितकोहरा के पंजाबी कॉलोनी में गैरमजरूआ जमीन जिसमें सिक्ख-हिन्दु समुदाय के घनी आबादी के बीच कब्रिस्तान बनाने पर मुख्यमंत्री को इसे रोकने हेतु पत्र देने के बाद भी कोई इस पर साकारत्मक पहल सरकार की ओर से नहीं हुई है। वही इसी तरह गर्दनीबाग के 10 नं. तालाब में कब्रिस्तान बनाने की घोषणा की गई क्या सरकार वहां आम नागरिकों के बीच महौल खराब करने की कोशिश कर रही है। उन्होंने आगे कहा कि 280 करोड़ की लागत से आर.ब्लॉक से दीघा तक 6 लेन सड़क का निर्माण पूरा करवाया। बेली रोड की जाम की समस्या को दूर करने के लिए 108 करोड़ की लागत से आर.सी.डी. के द्वारा इंदिरा भवन बेली रोड से रूकनपुरा तक सड़क निर्माण कार्य पूरा करवाया। नगर विकास विभाग के द्वारा 1.25 करोड़ की लागत से रवि चैक से डॉ. वीत्र भटाचार्या क्लिनीक तक सड़क का निर्माण कार्य पूरा करवाया। वहीं दीघा विधान सभा के कच्ची तालाब, गर्दनीबाग, पुलिस कॉलोनी पार्क, पाटलिपुत्रा योग पार्क, मजिस्ट्रेट कॉलोनी पार्क, भामा साह पार्क, पुनाईचक में विकास और जिर्णोद्धार कार्य अपने विकास निधि से करवाया। जे.पी.सेतु के नामकरण में भी मेरे पहल से इसका नाम जे.पी. सेतु रखा गया साथ ही जे.पी.सेतु के पास बसे बिंद समाज के लोगों कुर्जी के पास पुर्नवास करने का भी मेरे द्वारा पहल किया गया।

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