इंग्लैंड की हंड्रेड लीग मे भारतीय फ्रेंचाइज मे खेलेंगे पाकिस्तानी खिलाड़ी, इंग्लैंड बोर्ड ने दी अनुमति

नई दिल्ली। इंग्लैंड की प्रसिद्ध हंड्रेड लीग को लेकर एक महत्वपूर्ण खबर सामने आई है, जिसमें पाकिस्तानी खिलाड़ियों के खेलने और भारतीय फ्रेंचाइजियों की भागीदारी को लेकर चर्चा हो रही है। इंग्लैंड एंड वेल्स क्रिकेट बोर्ड के मुख्य कार्यकारी अधिकारी रिचार्ड गाउल्ड ने साफ किया है कि हंड्रेड लीग के आगामी सीजन में पाकिस्तानी खिलाड़ियों की भागीदारी पर कोई रोक नहीं होगी, भले ही इसमें आईपीएल की फ्रेंचाइजियों की हिस्सेदारी क्यों न हो। जब 2008 में इंडियन प्रीमियर लीग की शुरुआत हुई थी, तब पाकिस्तान के खिलाड़ी भी इसमें खेलते थे। लेकिन, भारत-पाकिस्तान के रिश्तों में तनाव बढ़ने के बाद पाकिस्तानी खिलाड़ियों को आईपीएल से बाहर कर दिया गया। उसके बाद से आज तक कोई पाकिस्तानी खिलाड़ी आईपीएल में खेलता नजर नहीं आया। हालांकि, आईपीएल की फ्रेंचाइजियों ने अब दुनिया की कई अन्य टी20 लीगों में भी अपनी पकड़ बना ली है। इसी कड़ी में, आईपीएल की चार प्रमुख टीमों – मुंबई इंडियंस, लखनऊ सुपर जायंट्स, सनराइजर्स हैदराबाद और दिल्ली कैपिटल्स ने इंग्लैंड की हंड्रेड लीग की चार टीमों में हिस्सेदारी खरीद ली है। इन फ्रेंचाइजियों ने क्रमशः ओवल इनविंसिबल्स, लंदन स्प्रिट, नॉर्दर्न सुपरचार्जर्स और सदर्न ब्रेव की टीमों में निवेश किया है। इससे साफ है कि आईपीएल की टीमें अब अपनी पहचान सिर्फ भारत तक सीमित नहीं रखना चाहतीं, बल्कि वे विश्व की दूसरी लीगों में भी अपनी उपस्थिति मजबूत कर रही हैं। इससे पहले ये फ्रेंचाइजियां कैरेबियन प्रीमियर लीग, दक्षिण अफ्रीका की SA20 लीग और अमेरिका की मेजर लीग क्रिकेट में भी अपनी टीमें उतार चुकी हैं। हालांकि, इंग्लैंड बोर्ड के अधिकारी रिचार्ड गाउल्ड ने स्पष्ट किया है कि आईपीएल टीमों के मालिकों की हंड्रेड लीग में हिस्सेदारी होने के बावजूद पाकिस्तानी खिलाड़ियों को खेलने से रोका नहीं जाएगा। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान के खिलाड़ी इस लीग का हिस्सा बने रहेंगे। रिचार्ड गाउल्ड ने यह भी कहा कि वे चाहते हैं कि भारतीय खिलाड़ी भी इस लीग में हिस्सा लें। मगर, बीसीसीआई (भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड) के सख्त नियमों के कारण यह संभव नहीं है। बीसीसीआई अपने सक्रिय भारतीय खिलाड़ियों को विदेशी लीगों में खेलने की अनुमति नहीं देता। केवल वे खिलाड़ी, जो अंतरराष्ट्रीय और घरेलू क्रिकेट से संन्यास ले चुके हैं, वे ही विदेशी लीग में भाग ले सकते हैं। उदाहरण के लिए, दिनेश कार्तिक ने संन्यास के बाद SA20 लीग में पार्ल रॉयल्स की ओर से खेला। रिचार्ड गाउल्ड ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि भविष्य में भारतीय खिलाड़ियों को हंड्रेड लीग में खेलते देखने का मौका मिलेगा, लेकिन फिलहाल यह बीसीसीआई की नीति के कारण संभव नहीं है। फिलहाल भारतीय खिलाड़ी इंग्लैंड में केवल द्विपक्षीय सीरीज और काउंटी क्रिकेट में खेलते नजर आते हैं। इस निर्णय के बाद क्रिकेट प्रेमियों में काफी उत्सुकता है कि हंड्रेड लीग में भारतीय फ्रेंचाइजियों और पाकिस्तानी खिलाड़ियों की मौजूदगी के बावजूद खेल भावना कायम रहेगी।
