पद्मश्री शारदा सिन्हा का चार महीने से पेंशन नही मिलने पर छलका दर्द, फेसबुक पोस्ट कर बोली- क्या बिहार में यही न्याय है

पटना। बिहार के विश्वविद्यालयों में वेतन-पेंशन व्यवस्था इतनी लेट-लतीफ है कि देश की मशहूर लोक गायिका पद्मश्री भी अपना दर्द नहीं छिपा सकीं। चार महीनों से पेंशन नहीं मिल पाने का उनका दर्द छलक आया और उन्होंने अपनी पीड़ा का इजहार अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म फेसबुक पर किया है। पद्मश्री शारदा सिन्हा ने फेसबुक पर लिखा है कि आखिर यह अंधेर कब तक झेलना होगा। उन्होंने लिखा है कि उनकी एक परम प्रिय मित्र डॉक्टर ईशा सिन्हा एलएनएसयू दरभंगा में पीजी हेड से रिटायर की थीं। आगे उन्होंने लिखा है कि जब से मैंने कॉलेज का शिक्षण कार्य शुरु किया था, तब से मेरे साथ सखी सहेली और न जाने कितने रूप में मेरा साथ देती रहीं। आज वे हमें अकेला छोड़ गईं। दो साल अपने शारीरिक कष्ट, व्याधि और मानसिक पीड़ा से लड़ती रहीं। अंतिम समय में उनके दिमाग पर अपने परिवार को अकेला छोड़ जाने के पीछे एक बहुत बड़ा कारण था कि उनकी पेंशन की राशि पिछले 4-5 महीनों से नहीं मिली थी।

शारदा सिन्हा ने बताया कि डॉक्टर ईशा के पति सच्चिदानंद ने सरकार के नाम कई पत्र लिखे। सरकार को हालत से अवगत भी कराया लेकिन सरकार के कान पर जूं तक नहीं रेंगी। सच्चिदानंद पटना से समस्तीपुर और समस्तीपुर से पटना इलाज के दौरान दौड़ते रहे। जिससे उनकी जीवन संगिनी कुछ पल और उनके साथ जीवित रह सकें। पद्मश्री शारदा सिन्हा ने लिखा है कि मेरी सखी ईशा जी तो चली गईं, अभी और न जाने कितने बाकी हैं। ललित नारायण मिथिला यूनिवर्सिटी से रिटायर्ड कर्मियों को अक्टूबर महीने से पेंशन नहीं मिला है। ऐसे में शारदा सिन्हा का यह पोस्ट काफी वायरल हो रहा है। साथ ही वर्तमान सरकार की व्यवस्था को लेकर उनका तंज भरा कटाक्ष भी खूब सुर्खियां बटोर रहा है।

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