पुलिस दिलीप सिंह को करे गिरफ्तार वरना पान समाज करेगा बड़ा आंदोलन : आईपी गुप्ता

पटना। अखिल भारतीय पान महासंघ के राष्ट्रीय अध्यक्ष सह कांग्रेस नेता ई. आई पी गुप्ता ने कहा प्रेस वार्ता आयोजित कर बताया कि बीते 4 जुलाई को समस्तीपुर जिले के सिंघिया थाने अंतर्गत माहे सिंघिया गांव के 15 वर्षीय दलित नाबालिक लड़के को 9 घंटे तक कड़ी धूप में एक खूटे से बांधकर जानवरों की तरह मारा गया। इल्जाम मात्र इतना कि वह बिस्कुट चोरी किया था। इस घटना की जानकारी मुझे 6 जुलाई को रात के 11 बजे दी गई। तुरंत मैने गृह विभाग के अपर मुख्य सचिव महोदय से संवाद स्थापित कर उन्हे इस घटना की जानकारी दी। उन्होंने मुझे बताया कि दोषी को गिरफतार कर लिया गया है। मगर मैने उन्हे बताया कि मुखिया पति दिलीप सिंह जिसके संरक्षण और इशारे पर ये क्रुकृत किया गया है उसे अभी तक गिरफ्तार नही किया गया है। फिर मैंने माननीय मुख्यमंत्री महोदय को इस घटना को लेकर रात में ही मैंने एक मेल भेजा। बीते कल मैं पीड़ित दीपक कुमार पान के घर माहे सिंघिया समस्तीपुर पहुंचा। वहां जाने के बाद पीड़ित और इसके मां ने जो कहानी सुनाई वो बेहद दिल दलहा देने वाला था। दुकानदार दीपक पान को बिस्कुट चोरी के इल्जाम में एक झोपड़ी में बंधकर मार पीट कर रहा था। मुखिया पति दिलीप सिंह इशारे पर धूप में खंती के सहारे दीपक को मुर्गा वाले अवस्था में बांधकर पीटा जाता रहा, इसके नंगे शरीर पर मिर्च का पाउडर मला गया, दीपक के आंख में मिर्च का पाउडर डाला गया और हाई प्रेशर पानी के ट्यूब से इसके शरीर पर फव्वारा छोड़ा गया। लगातार 9 घंटे तक ये सब चलता रहा। तभी इसका एक वीडियो वायरल होता है और पुलिस अधीक्षक इसका संज्ञान लेते हुए कार्यवायी का आदेश देते हैं और आरोपी दुकानदार और उसका बेटा को गिरफ्तार किया जाता है मगर आखिर दिलीप सिंह को किस कारण इस प्राथमिकी से बाहर रखा गया? दिलीप सिंह को प्राथमिकी में नामजद कर उसे अविलंब क्यों नही किया गया। पुलिस तुरंत प्राथमिकी दर्ज क्यों नही किया।
सिंघिया थाना पुलिस रात को डेढ़ बजे आखिरकार दीपक और उसके निरक्षर मां को थाना ले जाकर अपने से प्राथमिकी लिखती है और उसे बिना पढ़कर सुनाए प्राथमिकी दर्ज कैसे कर लेती है। इन सारे बिंदुओ पर पुलिस तुरंत कार्यवाई करे नही तो पान समाज एक बड़ी आंदोलन की ओर बढ़ चलेगा।

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