बिहार से एनडीए के सांसदों को प्रधानमंत्री ने दिल्ली बुलाया, चुनावी रणनीति पर आज करेंगे बैठक

पटना/दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी गुरुवार की शाम बिहार एनडीए के 27 सांसदों के साथ मीटिंग करेंगे। इस बैठक में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह भी मौजूद रहेंगे। साथ ही भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा के भी बैठक में शामिल होने की बातें कही जा रही है। वहीं बैठक की मेजबानी केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय करेंगे जो बिहार से भाजपा सांसद हैं। इस बैठक में बिहार बीजेपी के सभी लोकसभा और राज्यसभा सांसद शिरकत करेंगे। इसके अलावा लोजपा में पारस गुट के पांचों सांसद और चिराग पासवान भी बैठक में मौजूद रहेंगे। पीएम मोदी के साथ यह बैठक शाम 6:30 बजे से संसद के एनेक्सी में होगी। पीएम मोदी के साथ दिल्ली में होने वाली बिहार के एनडीए सांसदों की इस मुलाकात को लोकसभा चुनाव 2024 के पूर्व की तैयारियों से जोड़कर देखा जा रह है। भाजपा की कोशिश बिहार में 40 लोकसभा सीटों में से अधिकाधिक पर जीत हासिल करना है। इसी क्रम में एनडीए के सभी मौजूदा सांसदों से पीएम उनके संसदीय क्षेत्र में पार्टी की स्थिति सहित केंद्र की विभिन्न योजनाओं के कार्यान्वयन की जमीनी हकीकत से रूबरू हो सकते हैं। सूत्रों के कहना है कि इस बैठक का मूल उद्देश्य बिहार में एनडीए को सर्वाधिक सीटों पर जीत हासिल करने के लिए सभी सासदों को अभी से अपने क्षेत्र में सक्रियता दिखाने कहा जाएगा। बैठक में पीएम नरेंद्र मोदी 2024 के संसदीय चुनाव जीतने के ‘क्यों’ और ‘कैसे’ के बारे में बात करेंगे। वह एनडीए के घटक दलों के साथ अपनी केमिस्ट्री बनाने के अलावा इस संबंध में उन्हें अपना मंत्र भी देंगे। बिहार में एनडीए के घटक दलों में बीजेपी के पास 17 लोकसभा सांसद और चार राज्यसभा सदस्य हैं, जबकि राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी (पारस) के पास पांच लोकसभा सांसद हैं, इसके बाद एलजेपी (रामविलास) के नेतृत्व में एक लोकसभा सांसद चिराग पासवान के रूप में है। वहीं उपेंद्र कुशवाहा की पार्टी आरएलजेडी और पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी की पार्टी हम को बिहार में एक भी सांसद नहीं है। बैठक में आगामी लोकसभा चुनाव 2024 को लेकर चर्चा करने के साथ ही कुछ सांसदों को पीएम मोदी खास जिम्मेदारी सौप सकते हैं। विशेषकर बिहार में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व वाली महागठबंधन सरकार की कमजोरियों को आम जनता के बीच ले जाने को लेकर एनडीए सांसदों को बड़ा टास्क दिया जा सकता है।
