September 6, 2025

पटना में खतरनाक हुआ डेंगू, 22 नए संक्रमित मिले, 354 हुई मरीजों की संख्या

पटना। राजधानी पटना में डेंगू का प्रकोप लगातार बढ़ता जा रहा है। हर दिन नए मरीज मिलने से स्थिति चिंताजनक होती जा रही है। स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार, इस साल जनवरी से अब तक डेंगू के 354 मरीज सामने आ चुके हैं। इनमें से केवल गुरुवार को 22 नए केस दर्ज किए गए। इस तेजी से बढ़ते संक्रमण ने स्वास्थ्य विभाग और नगर निगम की चिंता बढ़ा दी है।
मरीजों की संख्या और स्थिति
अब तक मिले 354 मरीजों में 248 पुरुष और 106 महिलाएं शामिल हैं। यानी पुरुष मरीजों की संख्या महिलाओं से कहीं ज्यादा है। फिलहाल एनएमसीएच में पांच मरीजों का इलाज चल रहा है। विशेषज्ञों का मानना है कि मरीजों की संख्या में हो रही निरंतर वृद्धि आने वाले दिनों में और गंभीर रूप ले सकती है यदि समय रहते सख्त एहतियाती कदम नहीं उठाए गए।
स्वास्थ्य विभाग का अलर्ट
स्वास्थ्य विभाग ने डेंगू की गंभीर स्थिति को देखते हुए अलर्ट जारी किया है। विभाग ने लोगों से अपील की है कि वे अपने घरों और आसपास पानी जमा न होने दें। विशेष रूप से कूलर, गमले, पुराने टायर और बर्तनों में पानी को साफ रखें या पूरी तरह खाली कर दें। क्योंकि ये सभी जगहें डेंगू के मच्छरों के लार्वा के पनपने के लिए सबसे उपयुक्त मानी जाती हैं।
बचाव के उपाय
विशेषज्ञों का कहना है कि डेंगू से बचने का सबसे प्रभावी तरीका मच्छरों से बचाव है। इसके लिए लोगों को पूरी बाजू वाले कपड़े पहनने चाहिए और सोते समय मच्छरदानी का उपयोग करना चाहिए। स्वास्थ्य विभाग ने “हर दिन 10 बजे 10 मिनट” फार्मूला अपनाने की अपील की है। इसका मतलब है कि हर दिन सुबह 10 बजे लोग अपने घर की छत, बालकनी, आंगन और आसपास के क्षेत्रों में 10 मिनट समय देकर यह देख लें कि कहीं पानी तो जमा नहीं है। अगर पानी है तो उसे तुरंत हटा दें या उसमें केरोसिन डाल दें, जिससे लार्वा खत्म हो जाएगा।
प्रभावित इलाकों में छिड़काव
जिन इलाकों में डेंगू के मरीज मिल रहे हैं, वहां प्रशासन की ओर से विशेष अभियान चलाया जा रहा है। मरीज के घर के आसपास के 500 घरों में लार्वीसाइड का छिड़काव किया जा रहा है ताकि मच्छरों की संख्या को नियंत्रित किया जा सके। इसके साथ ही नगर निगम लगातार फॉगिंग अभियान भी चला रहा है।
विशेष अभियान की शुरुआत
डेंगू और मलेरिया सहित मच्छर जनित बीमारियों पर नियंत्रण के लिए पाटलिपुत्र और बांकीपुर में विशेष अभियान शुरू किया गया है। इस अभियान के तहत एंटी लार्वा का छिड़काव और नियमित फॉगिंग की जा रही है। गुरुवार को नगर आयुक्त अनिमेष कुमार पराशर ने अधिकारियों को विशेष सतर्कता बरतने का निर्देश दिया। उन्होंने कहा कि डेंगू प्रभावित घरों के 500 मीटर की परिधि और सभी अस्पतालों में एंटी लार्वा का छिड़काव अनिवार्य रूप से कराया जाए।
शिकायतों के लिए हेल्पलाइन
लोगों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए नगर निगम ने हेल्पलाइन नंबर 155304 जारी किया है। इस नंबर पर लोग छिड़काव या फॉगिंग से जुड़ी शिकायत दर्ज करा सकते हैं। अधिकारी सुनिश्चित करेंगे कि शिकायत पर तुरंत कार्रवाई हो।
बढ़ती चिंता और लोगों की जिम्मेदारी
पटना में डेंगू के मामले जिस रफ्तार से बढ़ रहे हैं, उसने लोगों के बीच दहशत का माहौल बना दिया है। विशेषज्ञों का कहना है कि प्रशासनिक प्रयासों के साथ-साथ लोगों की जागरूकता भी बेहद जरूरी है। जब तक लोग अपने स्तर पर सावधानी नहीं बरतेंगे, तब तक इस बीमारी को पूरी तरह रोकना संभव नहीं होगा। पटना में डेंगू का बढ़ता प्रकोप इस बात की ओर इशारा करता है कि छोटी-सी लापरवाही भी बड़ी मुसीबत खड़ी कर सकती है। समय रहते सतर्कता बरतना और मच्छरों के पनपने की संभावनाओं को खत्म करना ही सबसे बड़ा बचाव है। स्वास्थ्य विभाग और नगर निगम की ओर से किए जा रहे प्रयास तभी सफल होंगे जब हर नागरिक अपनी जिम्मेदारी समझे और सक्रिय रूप से इसमें सहयोग करे।

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