December 5, 2025

लॉकडाउन में बिहार विधान परिषद का चुनाव स्थगित, 17 दिग्गजों का कार्यकाल समाप्त

पटना। कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए लगाए गए देशव्यापी लॉकडाउन के कारण बिहार विधान परिषद का चुनाव स्थगित हो गया है। चुनाव स्थगित होने से परिषद के कार्यकारी सभापति हारुन रशीद, मंत्री अशोक चौधरी एवं नीरज कुमार तथा कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. मदन मोहन झा समेत 17 सदस्यों का कार्यकाल आज समाप्त हो गया। चुनाव आयोग समीक्षा के बाद फिर नए सिरे से चुनाव का कार्यक्रम जारी करेगा।
चुनाव स्थगित होने से जिन दिग्गज नेताओं का कार्यकाल समाप्त हो गया है, उनमें विधानसभा क्षेत्र से निर्वाचित जदयू के विधान परिषद सदस्य एवं भवन निमार्ण मंत्री अशोक चौधरी, परिषद के कार्यकारी सभापति हारुन रशीद, जदयू के पी. के. शाही, सतीश कुमार, सोनेलाल मेहता एवं हीरा प्रसाद बिंद के साथ ही भाजपा के कृष्ण कुमार सिंह, संजय प्रकाश उर्फ संजय मयूख तथा राधामोहन शर्मा शामिल हैं।
इसी तरह जदयू के स्नातक निवार्चन क्षेत्र पटना से सूचना एवं जनसंपर्क मंत्री नीरज कुमार, तिरहुत स्नातक क्षेत्र से निर्दलीय देवेशचंद्र ठाकुर, दरभंगा स्नातक क्षेत्र से जदयू के दिलीप चौधरी, कोसी स्नातक क्षेत्र से एन. के. यादव हैं। वहीं, शिक्षक निवार्चन क्षेत्र पटना से भाजपा के प्रो. नवल किशोर यादव, तिरहुत शिक्षक क्षेत्र से भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा) के प्रो. संजय कुमार सिंह, दरभंगा शिक्षक निवार्चन क्षेत्र से कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. मदन मोहन झा और सारण शिक्षक निवार्चन क्षेत्र से भाकपा के केदारनाथ पांडेय का कार्यकाल समाप्त हो गया है।
विधान परिषद और विधानसभा का सदस्य नहीं रहने के बावजूद अशोक चौधरी और नीरज कुमार मंत्री बने रहेंगे। संविधान के अनुच्छेद 164 के तहत किसी व्यक्ति के किसी भी सदन का सदस्य नहीं रहने पर वह छह माह तक मंत्री के पद पर बना रहा सकता है। हालांकि इस अवधि में उसे दोनों में से किसी सदन का सदस्य बनना होगा, नहीं तो पद छोड़ना पड़ सकता है। इस व्यवस्था के तहत श्री चौधरी और श्री कुमार मंत्री बने रहेंगे। हालांकि विधान परिषद के सदस्य के रूप में प्राप्त होने वाली सुविधाएं दोनों को नहीं मिलेंगी।

बताते चलें चुनाव आयोग ने बीते 3 अप्रैल को कोरोना संक्रमण से बचाव को ध्यान में रखते हुए विधान परिषद के शिक्षक, स्नातक और विधानसभा क्षेत्र में होने वाले चुनाव को तत्काल स्थगित कर दिया था। शिक्षक निवार्चन क्षेत्र के लिए चार और स्नातक निवार्चन क्षेत्र के लिए चार सीटों पर चुनाव होना था। इसके साथ ही विधानसभा क्षेत्र से नौ सीटों के लिए भी चुनाव कराया जाना था। आयोग ने लॉकडाउन की पाबंदियों को ध्यान में रखते हुए यह निर्णय लिया था। आयोग के इस निर्णय के कारण ही 17 दिग्गजों का कार्यकाल आज समाप्त हो गया।

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