बिहार के लोगों को मिली नए मीठापुर-महुली एलिवेटेड रोड की सौगात, पटना से मुख्यमंत्री ने उद्घाटन कर किया शुभारंभ
पटना। शहर में यातायात व्यवस्था को सुगम और समयबद्ध बनाने की दिशा में एक और अहम कदम उठाया गया है। सोमवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने राजधानी के दक्षिणी भाग को जाम से राहत देने के लिए मीठापुर-महुली एलिवेटेड रोड का उद्घाटन किया। इस नई सड़क के चालू होने से न केवल पटना के स्थानीय निवासियों को लाभ होगा, बल्कि दक्षिण बिहार के अन्य जिलों में यात्रा करने वाले लोगों के लिए भी यह एक बड़ी राहत साबित होगी।
जाम से राहत और समय की बचत
पटना जैसे भीड़भाड़ वाले शहर में घंटों का जाम आम बात है। खासकर मीठापुर, सिपारा, महुली और पुनपुन की ओर जाने वाले मार्गों पर वाहन चालकों को लंबी प्रतीक्षा करनी पड़ती थी। अब इस एलिवेटेड सड़क के शुरू हो जाने से सिपारा से महुली की दूरी महज 5 से 6 मिनट में तय की जा सकेगी, जबकि पहले यही दूरी तय करने में काफी समय लगता था। यह न केवल यात्रियों के समय की बचत करेगा, बल्कि ईंधन की खपत भी घटेगी।
प्रोजेक्ट की लागत और संरचना
मीठापुर-महुली एलिवेटेड रोड की कुल लागत लगभग 1400 करोड़ रुपये है। यह सड़क दो चरणों में तैयार की जा रही है। पहले चरण में सिपारा से महुली तक का एलिवेटेड रोड पूरी तरह बनकर तैयार हो चुका है और यातायात के लिए खोल दिया गया है। इस खंड से होकर यात्री भूपतिपुर के पास बने रैंप से चढ़कर महुली तक सुगम यात्रा कर सकते हैं।
दूसरे चरण का निर्माण कार्य
इस परियोजना का दूसरा चरण मीठापुर से सिपारा तक का है, जिसकी लंबाई लगभग 2.10 किलोमीटर है। इस भाग पर भी एलिवेटेड रोड का निर्माण किया जा रहा है और पथ निर्माण विभाग के अनुसार नवंबर तक इसका कार्य पूरा कर लिया जाएगा। इसके अलावा महुली से पुनपुन तक की लगभग 2.20 किलोमीटर की दूरी को जोड़ने के लिए एक चौड़ी फोरलेन सड़क का भी निर्माण किया जा रहा है, जिससे संपूर्ण यातायात व्यवस्था और अधिक प्रभावी होगी।
दक्षिण बिहार से कनेक्टिविटी में सुधार
इस एलिवेटेड रोड के चालू होने से न केवल पटना शहर में यातायात की स्थिति सुधरेगी, बल्कि दक्षिण बिहार के जिलों जैसे जहानाबाद, अरवल, बिहारशरीफ और गया की ओर जाने वाले यात्रियों को भी काफी सुविधा मिलेगी। पहले इन क्षेत्रों में जाने के लिए शहर के भीतर जाम से जूझना पड़ता था, लेकिन अब एलिवेटेड सड़क के जरिए यह मार्ग सीधा और समयबद्ध हो जाएगा।
स्थानीय लोगों को सीधा लाभ
मीठापुर, सिपारा और महुली जैसे इलाकों में रहने वाले लाखों लोगों को इस नई सड़क से प्रत्यक्ष लाभ मिलेगा। कार्यालय, स्कूल, कॉलेज और अस्पतालों के लिए आने-जाने वाले लोगों को अब रोजाना की परेशानी से राहत मिलेगी। साथ ही व्यवसायिक दृष्टिकोण से भी यह परियोजना फायदेमंद होगी, क्योंकि मालवाहन और व्यापारिक गतिविधियों के लिए बेहतर कनेक्टिविटी सुनिश्चित होगी।
भविष्य की संभावनाएं
मीठापुर-सिपारा-महुली-पुनपुन मार्ग का यह एलिवेटेड नेटवर्क पटना शहर के ट्रैफिक मैनेजमेंट के लिहाज से एक बड़ा कदम है। आने वाले वर्षों में यदि इसे और विस्तार दिया जाए, तो शहर के अन्य भागों में भी जाम की समस्या से छुटकारा मिल सकता है। यह परियोजना एक मॉडल बन सकती है, जिससे अन्य शहरों को भी प्रेरणा मिलेगी। इस प्रकार, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार द्वारा शुरू की गई यह परियोजना न केवल एक बुनियादी ढांचे के विकास का उदाहरण है, बल्कि यह राज्य के विकास में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित हो सकती है।
पटना से गया-राजगीर मार्ग पर नई परियोजना से सुगम यातायात की दिशा में बड़ा कदम
बिहार में सड़क ढांचे के विकास की दिशा में एक और महत्वपूर्ण प्रगति हुई है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने हाल ही में भूपतिपुर चौराहा से सिपारा होते हुए पुनपुन लक्ष्मण झूला और गयाजी-डोभी एनएच-22 तक के सड़क खंड के निर्माण कार्य का लोकार्पण किया है। यह परियोजना राजधानी पटना को गया, राजगीर, औरंगाबाद तथा रांची जैसे प्रमुख शहरों से जोड़ने में अभूतपूर्व सहूलियत प्रदान करेगी।
एलिवेटेड पथ और आरओबी निर्माण का प्रगति विवरण
मीठापुर से सिपारा तक 2.1 किलोमीटर लंबे एलिवेटेड पथ का कार्य अभी प्रगति पर है, जिसे नवम्बर 2025 तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है। सिपारा के लेवल क्रॉसिंग पर आरओबी (रेलवे ओवर ब्रिज) का कार्य भी जारी है। इसके साथ ही सिपारा से महुली तक 4 लेन का एलिवेटेड पथ और एट ग्रेड सड़क का कार्य चरण-1 में पूरा कर लिया गया है। इस परियोजना के तहत 6.754 किलोमीटर लंबा एट ग्रेड पथ और 5.5 किलोमीटर लंबा एलिवेटेड पथ शामिल है। परियोजना के चरण-2 में भूपतिपुर अप-रैम्प को जोड़ा गया है जिसकी लंबाई 1.10 किलोमीटर है, और यह महुली से पुनपुन तक 23 किलोमीटर लंबे 4 लेन एट ग्रेड पथ को जोड़ता है।
लोगों को मिलेंगी सुविधाएं
इस सड़क परियोजना से पटना से गया, राजगीर और रांची की यात्रा अब पहले से अधिक सुगम हो जाएगी। यह पथ विशेष रूप से पितृपक्ष मेला के दौरान पुनपुन और गया जी जाने वाले श्रद्धालुओं को जाम से राहत देने में सहायक होगा। इसके अलावा यह मार्ग पटना के विभिन्न प्रमुख स्थलों जैसे शैक्षणिक संस्थान, अस्पताल, धार्मिक और पर्यटन स्थलों तक पहुंच को आसान बनाएगा। इससे स्थानीय लोगों के साथ-साथ यात्रियों को भी काफी राहत मिलेगी।
ध्वनि प्रदूषण और जल निकासी की व्यवस्था
परियोजना में शोर से बचाव के लिए एलिवेटेड पथ की पूरी लंबाई में ध्वनि शोषक पैनल लगाए गए हैं ताकि मार्ग के किनारे बसे लोगों को ध्वनि प्रदूषण से बचाया जा सके। साथ ही, सड़क के दोनों ओर पक्के नालों का निर्माण किया गया है ताकि वर्षा जल के निकासी में कोई बाधा न हो। रात्रि में भी यातायात सुचारू रूप से चलता रहे इसके लिए पूरी लंबाई में स्ट्रीट लाइट और एलिवेटेड पथ के मेडियन में एंटी ग्लेयर स्क्रीन की व्यवस्था की गई है।
तकनीकी दृष्टिकोण और निर्माण विधि
चूंकि पथ के किनारे घनी आबादी और पटना-गया रेलवे लाइन स्थित है, इसलिए एलिवेटेड पथ का निर्माण आरसीसी पियर पर सेगमेंटल तकनीक से किया गया है। इसका उद्देश्य भू-अर्जन को न्यूनतम रखते हुए अधिकतम चौड़ाई वाला पथ विकसित करना है। इस आधुनिक निर्माण तकनीक से क्षेत्रवासियों को विकास के साथ न्यूनतम असुविधा सुनिश्चित की गई है। यह परियोजना न केवल पटना के यातायात को सुगम बनाएगी बल्कि समूचे दक्षिण बिहार के विकास को भी गति देगी।


