जन-गण-मन यात्रा: सीतामढ़ी में कन्हैया के खिलाफ लगे मुर्दाबाद के नारे, दिखाए काले झंडे

सीतामढ़ी। सीएए, एनआरसी तथा एनपीआर के खिलाफ बीते 30 जनवरी से पूरे बिहार में जेएनयू छात्र संघ के पूर्व अध्यक्ष व सीपीआई के युवा नेता कन्हैया कुमार ‘जन-गण-मन यात्रा’ पर निकले है। शनिवार को सारण में कन्हैया कुमार के काफिले को असामाजिक तत्वों ने अपना निशाना बनाया था, उस हमले के बाद रविवार को सीतामढ़ी में कन्हैया के खिलाफ मुर्दाबाद के नारे लगे। इस दौरान उनके काफिले को भी रोकने की कोशिश की गई। इसके पहले शिवहर में अपने संबोधन के दौरान उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तथा गृह मंत्री अमित शाह की जमकर आलोचना की। उन्होंने कहा कि सीएए का शिगूफा छोड़ बीजेपी देश को बांटने की साजिश कर रही है।
कन्हैया के निशाने पर रहे पीएम मोदी और अमित शाह
रविवार को शिवहर के किसान मैदान में कन्हैया कुमार ने करीब 50 मिनट तक लोगों को संबोधित किया। इस दौरान पीएम नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह निशाने पर रहे। संविधान एवं देश की संस्कृति का हवाला देकर कन्हैया ने ठेठ बिहारी अंदाज में उनके खिलाफ व्यंग्य किए। कन्हैया ने कहा कि देश की जनता को आपस में कोई दिक्कत नहीं है। परेशानी तो सरकार को है, जिसकी राजनीति खतरे में पड़ गई है। इसीलिए सीएए के नाम पर देश की जनता को बांटने का काम किया है। उन्होंने कहा कि इस गंदी सियासत का मिलकर खत्म करना होगा। कन्हैया ने सरकार संचालित हर योजनाओं एवं नारों पर कटाक्ष करते हुए मोदी सरकार को अवसरवादी एवं गलतबयानी करने वाला करार दिया। मजाहिया लहजे में कहा कि अच्छा हुआ कि वे चुनाव हार गए, वरना उन्हें भी संसद में बजट सत्र के भाषण में झूठ सुनने पड़ते। कन्हैया ने लोगों को अपने हक की लड़ाई के लिए प्रेरित किया। कहा कि सीएए, एनआरसी एवं एनपीआर किसी भी हाल में लागू नहीं होने दिया जाएगा। इसके लिए आंदोलन जितना लंबा चलेगा, चलाएंगे। इसके बाद कन्हैया का ािफला सीतामढ़ी के लिए प्रस्थान कर गया। इस बीच कन्हैया के खिलाफ विरोध-प्रदर्शन की आशंका के मद्देनजर सुरक्षा सख्त कर दी गई। इसके बावजूद कन्हैया के काफिले को शहर के अंदर पुनौरा में रोकने का प्रयास किया गया। वहां कन्हैया के खिलाफ जमकर नारेबाजी भी हुई। कन्हैया को पुलिस सुरक्षा में कार्यक्रम स्थल पर पहुंचाया गया। पुलिस ने एक व्यक्ति को हिरासत में भी लिया है। बता दें कन्हैया का कार्यक्रम इससे पहले सीतामढ़ी के एसआरकेजे गोयनका कॉलेज में होना तय था। मगर छात्र संगठनों के विरोध-प्रदर्शन के बाद प्राचार्य ने जनसभा की अनुमति रद कर दी। इससे कार्यक्रम स्थल डुमरा हवाई अड्डा मैदान में तय करना पड़ा।
