रूपेश सिंह हत्याकांड : 22 दिन बाद एक बाईक चोर को गिरफ्तार कर पटना पुलिस थपथपा रही पीठ, पत्नी और भाई ने पुलिस की थ्योरी को नकारा

पटना/छपरा। बीते 12 जनवरी की सरेशाम राजधानी पटना में हुई इंडिगो के स्टेशन हेड रुपेश सिंह की हत्या के मामले में 22 दिन बाद एक बाईक चोर को गिरफ्तार कर पटना पुलिस खुद की पीठ थपथपा रही है, जबकि तीन अब भी फरार हैं। पटना पुलिस ने पत्रकारों को जो थ्योरी बतायी है, उस थ्योरी को रूपेश के परिजनों ने नकार दिया है।
बता दें रुपेश सिंह की हत्या के बाद बिहार की राजनीति गर्मा गयी थी। विपक्ष को नीतीश कुमार के सुशासन पर उंगुली उठाने को मौका दे दिया था। इस हाईप्रोफाइल हत्याकांड के बाद बिहारवासियों में दहशत समा गया था। हत्याकांड की गुत्थी सुलझाने के लिए दो टीम दिन-रात काम रही थी। इस दौरान पुलिस ने कई पहलुओं पर जांच की थी। इस दौरान दो आईएएस अधिकारियों के नाम भी सामने आए थे। वहीं मुख्यमंत्री नीतीश कुमार लगातार डीजीपी से बात कर मामले की जानकारी ले रहे थे। यहां तक की अपराध की रोकथाम के लिए बैठकें भी की थी।


यह बात पचने वाली नहीं
पटना पुलिस की थ्योरी पर रूपेश की पत्नी नीतू सिंह और भाई नंदेश्वर सिंह ने मीडियाकर्मियों से बात करते हुए कहा कि इतने बड़े सामाजिक आदमी की हत्या के पीछे इतनी छोटी वजह होगी, यह बात पचने वाली नहीं है। हालांकि पत्नी नीतू ने इस बात की पुष्टि की कि नवम्बर में रूपेश की गाड़ी का छोटा सा एक्सीडेंट हुआ था। गाड़ी पर हल्का सा डेंट लगा था लेकिन रूपेश गाड़ी से उतरे तो वो भाग चुका था। उनकी किसी से हाथापाई या बहस नहीं हुई थी। कभी कोई बात नहीं छिपाते थे। उनके पेट में कोई बात नहीं पचती थी। छोटी सी छोटी बात भी बताते थे। नीतू सिंह ने कहा कि उन्हें यकीन नहीं हो रहा कि रूपेश सिंह को इतनी छोटी वजह से मारा गया। आरोपी ऋतुराज झूठ बोल रहा है। नीतू सिंह ने कहा कि इस मामले में किसी को बचाने की कोशिश हो रही है। उन्होंने कहा कि उन्हें न्याय चाहिए। उन्होंने आज तक अपने पति का किसी से झगड़ा नहीं सुना। उन्होंने कहा कि यह बात विश्वास करने योग्य नहीं है। परिवार में कोई इस पर भरोसा नहीं कर पा रहा है।


किसी रोडरेज की घटना का जिक्र नहीं किया
वहीं रूपेश के भाई नंदेश्वर सिंह ने एक सवाल के जवाब में कहा कि पुलिस का खुलासा गलत है यह मैं नहीं कह सकता हूं लेकिन जो वजह बताई जा रही है कि उस पर भरोसा नहीं हो रहा। उन्होंने कहा कि यदि पुलिस के आला अधिकारियों ने आरोपी को पकड़ लिया है तो वे निश्चित ही सबूतों से अपनी बात को प्रमाणित करके हम सभी को संतुष्ट करेंगे। नंदेश्वर सिंह ने कहा कि उनके भाई रूपेश ने कभी ऐसी किसी रोडरेज की घटना का जिक्र उनसे नहीं किया। रूपेश किसी पर हाथ उठा सकते हैं इस पर भी किसी को यकीन नहीं होगा। वह भी एक बाइक चोर से उनकी ऐसी झड़प होगी कि उन्हें इस तरह बेरहमी से मार डाला जाएगा, यह बात पच नहीं रही है। फिर भी पुलिस ने किसी को गिरफ्तार किया है तो उसके पास सबूत भी होगा।
एसएसपी बोले- हम भी हतप्रभ हैं
इधर, पटना के एसएसपी उमेश शर्मा ने कहा कि घटना की ऐसी छोटी वजह सामने आने के बाद वह खुद हतप्रभ हैं। रूपेश सिंह से अपने परिचय और अक्सर होने वाली मुलाकातों का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि रूपेश के पास फोरम की कमी नहीं थी। उन्होंने रोडरेज की घटना और अपनी जान पर किसी किस्म के खतरे के बारे में कभी जिक्र क्यों नहीं किया, इस पर भी हैरानी हो रही है लेकिन आरोपी को पूरे सबूतों के साथ गिरफ्तार किया गया है।
200 सीसीटीवी, 4000 सीडीआर, 600 जीबी डाटा खंगाला
एसएसपी ने कहा कि इस केस में पुलिस पहले अपराधी तक पहुंची है। इसके लिए 20 दिनों तक कड़ी मशक्कत की गई। करीब 200 सीसीटीवी कैमरों, 4000 सीडीआर, 600 जीबी डाटा को खंगालने के साथ 100 किलोमीटर पैदल चली है। पुलिस ने आरोपी ऋतुराज के पास से कत्ल में इस्तेमाल बाइक, उस समय पहने कपड़े, हथियार और अन्य कई सबूत बरामद किए हैं। आरोपी की पहचान सीसीटीवी फुटेज में दिख रहे बाइक पर पीछे बैठे शख्स के रूप में हुई। उसके चेहरे का मिलान सीसीटीवी फुटेज में कैद तस्वीरों से हुआ है। उन्होंने कहा कि बिहार पुलिस ने गहनता से पूरे मामले की जांच की है। तथ्य और साक्ष्य सामने आएं हैं। समय के साथ सभी इसे मानेंगे।

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