पेट्रोल-डीजल की बढ़ती दरों पर भड़के शरद यादव, कहा- जनता विरोधी है एनडीए सरकार
पटना। पेट्रोल और डीजल के दामों को लगातार 17वें दिन बढ़ोत्तरी पर पूर्व सासंद शरद यादव ने केंद्र की एनडीए सरकार को निशाने पर लिया है। इस बाबत उन्होंने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर एनडीए सरकार को जनता विरोधी बताया। शरद ने कहा कि मौजूदा एनडीए सरकार जनता विरोधी है, जो एक के बाद एक जनता पर जुल्म ढा रही है। इनके जुल्मों की लिस्ट इतनी लंबी है, जिनको एक बार में बयां कर पाना मुश्किल है। आजकल इस सरकार का ध्यान जनता को पीड़ा देने पर है।
उन्होंने कहा कि कोरोना बीमारी आने के बाद वैसे ही लोगों के काम धंधे, नौकरियां, व्यापार खत्म हो गए और उसी बीच इस कदर पेट्रोल और डीजल के दामों को सरकार द्वारा बढ़ाना जनता के साथ अन्याय है। सन् 2014 में डीजल पर एक्साइज ड्यूटी 3.56 रुपए और पेट्रोल पर 9.40 रुपए प्रति लीटर होती थी, जो अब 10 गुना बढ़ाकर सरकार द्वारा 31.83 रुपए और 32.98 रुपए प्रति लीटर कर दी गई है। आज हाल यह है कि डीजल का दाम देश में पहली बार पेट्रोल से भी ज्यादा बढ़कर 79.88 रुपए प्रति लीटर हुआ है और पेट्रोल का दाम 79.76 कर दिया गया है।
शरद यादव ने कहा कि देश में आश्चर्यजनक काम हो रहे हैं, जो आज तक कोई सरकार नहीं कर पाई है। इसमें कोई भी दो राय नहीं है कि पेट्रोल और खासतौर से डीजल के दामों का सीधा प्रभाव जरूरी समान के दामों पर भी पड़ता है। इससे आम आदमी से लेकर सभी प्रभावित होते हैं। पहली बार डीजल के दाम इतने बढ़े है, जो कि पेट्रोल के दामों को भी पार कर गए हैं। इससे सभी रोजमर्रा की वस्तुएं के दामों पर जनता के लिए प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा। जनता वैसे ही खासतौर से गरीब, मध्यम वर्ग पहले से ही इतना दुखी और तबाह है। ऐसे में लोग क्या करेंगे, यह सरकार को सोचना और समझना चाहिए।


