पटना में मूर्ति विसर्जन में बदमाशों ने दुकान में की तोड़फोड़, चंदे को लेकर विवाद, तीन से अधिक कर्मचारी घायल
पटना। नाला रोड स्थित कदमकुंआ थाना क्षेत्र गुरुवार की शाम उस समय दहशत में आ गया जब मूर्ति विसर्जन के दौरान असामाजिक तत्वों ने एक दुकान में घुसकर जमकर उत्पात मचाया। मूर्ति विसर्जन के मौके पर जहां पूरे शहर में धार्मिक उत्सव और उल्लास का माहौल था, वहीं एक मामूली विवाद ने इस खुशी को तनाव में बदल दिया। घटना में तीन से अधिक लोग घायल हो गए हैं, जबकि दुकान में तोड़फोड़ कर काफी नुकसान पहुंचाया गया है।
मूर्ति विसर्जन जुलूस के दौरान हुआ विवाद
घटना कदमकुंआ थाना क्षेत्र के नाला रोड की है, जहां गुरुवार शाम दरियापुर गोबर गली से एक प्रतिमा विसर्जन के लिए निकाली जा रही थी। इसी दौरान जब जुलूस आशा ट्रेडर्स नामक दुकान के सामने पहुंचा, तो कुछ लोगों ने दुकान में घुसकर तोड़फोड़ शुरू कर दी। मौके पर भगदड़ जैसी स्थिति बन गई और देखते ही देखते स्थिति बेकाबू हो गई।
चंदे को लेकर पहले से चल रहा था विवाद
जानकारी के अनुसार, दरियापुर गोबर गली के कुछ युवक मूर्ति स्थापना के समय आशा ट्रेडर्स के मालिक विभूति तिवारी के पास चंदा मांगने पहुंचे थे। उस वक्त विभूति तिवारी ने किसी कारणवश चंदा देने से मना कर दिया था। इसी बात को लेकर दोनों पक्षों के बीच तनातनी हो गई थी। युवकों ने उस समय ही दुकानदार को अंजाम भुगतने की चेतावनी दी थी। विभूति तिवारी ने इसे उस वक्त हल्के में लिया, लेकिन यह मामूली सा विवाद बाद में हिंसा में बदल गया।
दुकान में घुसकर की गई तोड़फोड़ और मारपीट
गुरुवार की देर शाम जब मूर्ति विसर्जन का जुलूस नाला रोड से होकर गुजर रहा था, तभी कुछ शरारती तत्व आशा ट्रेडर्स की दुकान में घुस गए। उन्होंने पहले मालिक विभूति तिवारी पर हमला किया और फिर बीच-बचाव करने आए कर्मचारियों को भी बेरहमी से पीटा। घटना में तीन से अधिक कर्मचारी घायल हो गए हैं। किसी के हाथ में चोट आई है तो किसी के पैर या शरीर पर गंभीर घाव हैं। हमलावरों ने दुकान में रखे सामान को भी नुकसान पहुंचाया और कई वस्तुएं तोड़ दीं।
स्थानीय लोगों में दहशत, मौके पर पहुंची पुलिस
घटना के बाद आसपास के लोगों में अफरा-तफरी मच गई। लोग अपनी दुकानें बंद कर मौके से दूर हट गए। सूचना मिलते ही कदमकुंआ थाने की पुलिस घटनास्थल पर पहुंची और हालात पर काबू पाया। पुलिस ने घायल लोगों को अस्पताल भेजा और मौके से सबूत जुटाने की प्रक्रिया शुरू की।
थाने में दी गई लिखित शिकायत
दुकान के मालिक विभूति तिवारी ने इस घटना के संबंध में थाने में लिखित शिकायत दी है। उन्होंने बताया कि पहले से ही कुछ लोगों ने उन्हें धमकी दी थी और उसी धमकी को आज उन्होंने अंजाम दिया। तिवारी ने पुलिस से दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है ताकि भविष्य में इस तरह की घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो।
पुलिस ने जांच शुरू की, दोषियों पर होगी कार्रवाई
कदमकुंआ थाना पुलिस और टाउन डीएसपी ने पूरे मामले की पुष्टि की है। टाउन डीएसपी ने बताया कि मूर्ति विसर्जन के दौरान आशा ट्रेडर्स में घुसकर मारपीट की घटना की जानकारी मिली है। पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज खंगालना शुरू कर दिया है ताकि आरोपियों की पहचान की जा सके। डीएसपी ने कहा कि दोषियों को किसी भी सूरत में बख्शा नहीं जाएगा और उनके विरुद्ध कठोर कार्रवाई की जाएगी।
धार्मिक आयोजन में असामाजिक तत्वों की सक्रियता पर सवाल
यह घटना एक बार फिर यह सवाल खड़ा करती है कि धार्मिक आयोजनों के दौरान सुरक्षा व्यवस्था कितनी पुख्ता होती है। अक्सर देखा गया है कि विसर्जन या शोभायात्राओं के दौरान असामाजिक तत्व माहौल को बिगाड़ने का काम करते हैं। ऐसे में प्रशासन को पहले से ही ऐसे संवेदनशील आयोजनों में सुरक्षा के कड़े इंतज़ाम करने की आवश्यकता है। पटना की यह घटना केवल एक स्थानीय विवाद नहीं, बल्कि यह सामाजिक सौहार्द और प्रशासनिक सतर्कता की कमी का प्रतीक है। जहां एक ओर लोग धार्मिक आस्था के साथ उत्सव मना रहे थे, वहीं दूसरी ओर कुछ शरारती तत्वों ने उस माहौल को हिंसा में बदल दिया। घायल दुकानदारों और कर्मचारियों के दर्द के साथ यह घटना एक चेतावनी भी है कि धर्म के नाम पर उपजे विवादों को समय रहते संभालना बेहद आवश्यक है। पुलिस अब दोषियों की तलाश में जुटी है और उम्मीद है कि जल्द ही इस घटना के पीछे शामिल सभी लोगों को कानून के कटघरे में लाया जाएगा।


