पटना में सहायक उर्दू अनुवादक अभ्यर्थियों का प्रदर्शन, आयोग को 24 घंटे का दिया अल्टीमेटम

पटना। बिहार कर्मचारी चयन आयोग ने सहायक उर्दू अनुवादक की वैकेंसी साल 2019 में निकली थी। साल 2022 के अगस्त महीने तक प्रारंभिक, मेन्स परीक्षा, इंटरव्यू और काउंसलिंग की प्रक्रिया पूरी कर ली गई है। लेकिन, डेढ़ साल से अधिक बीत जाने के बाद भी अब तक इसका फाइनल रिजल्ट जारी नहीं किया गया है। इसी को लेकर आज तमाम बीएसएससी उर्दू अनुवादक के उम्मीदवार आयोग पहुंचे और अध्यक्ष से मिलकर उनसे जल्द से जल्द रिजल्ट जारी करने की मांग की है। साथ ही उनके द्वारा आयोग को 24 घंटे का अल्टीमेटम दिया गया है। अगर आयोग 24 घंटे के भीतर रिजल्ट को जारी नहीं करता है तो यह लोग प्रदर्शन करेंगे। मोहम्मद अल्तजा ने कहा कि हम लोग उर्दू अनुवादक के कैंडिडेट हैं। हमने 2019 में इस वैकेंसी के लिए अप्लाई किया। प्रारंभिक परीक्षा के बाद मेन्स परीक्षा दी। 2022 के अगस्त महीने में हम लोग की काउंसलिंग कंप्लीट हो गई। लेकिन इसके बाद भी अब तक फाइनल रिजल्ट जारी नहीं किया गया है। बेरोजगार होकर भटक रहे हैं, जहां एक तरफ दो महीने के भीतर बिहार में 2 लाख से अधिक शिक्षकों को नौकरी मिल जाती है। हम उर्दू कैंडिडेट पर सरकार का बिल्कुल ही ध्यान नहीं है। अरशद रजा के कहा कि हम लोग अपने रिजल्ट को लेकर काफी समय से मांग कर रहे हैं। आज इतनी ठंड के मौसम में हम लोग कार्यालय पहुंचे हैं, अपने रिजल्ट की मांग को लेकर। अगर अगले 24 घंटे में आयोग हमारे रिजल्ट को जारी नहीं करता है,तो मंगलवार को पूरी सड़क को जाम कर देंगे। साल 2019 में बिहार तकनीकी सेवा आयोग ने उर्दू अनुवादक के 1294 रिक्त पदों के लिए वैकेंसी निकली थी। 28 फरवरी 2021 को प्रारंभिक परीक्षा का आयोजन किया गया था और 19 सितंबर 2021 को ही मेन्स परीक्षा का आयोजन किया गया था।

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