मॉनसून सत्र में पीएम का हुंकार, कहा- ऑपरेशन संदूर से दुनिया ने भारत का समर्थ देखा, संसद में करें सेना की तारीफ

नई दिल्ली। संसद के मॉनसून सत्र की शुरुआत से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मीडिया को संबोधित करते हुए देश और संसद को कई महत्वपूर्ण संदेश दिए। प्रधानमंत्री ने सबसे पहले ऑपरेशन सिंदूर का जिक्र करते हुए कहा कि इस ऑपरेशन ने न केवल भारत के सैन्य सामर्थ्य को दुनिया के सामने रखा बल्कि भारत की स्वदेशी सैन्य ताकत पर भी वैश्विक विश्वास को मजबूत किया।
ऑपरेशन सिंदूर का जिक्र
प्रधानमंत्री ने कहा कि जब वे दुनिया के नेताओं से मिलते हैं तो उन्हें भारत के स्वदेशी हथियारों पर दुनिया का भरोसा स्पष्ट दिखता है। उन्होंने उम्मीद जताई कि संसद के इस सत्र में सभी दल एक स्वर में इस सैन्य सफलता की सराहना करेंगे। पीएम मोदी ने कहा कि इससे देशवासियों में सेना के प्रति गर्व और सम्मान की भावना और मजबूत होगी।
रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता पर जोर
प्रधानमंत्री ने संसद में रक्षा क्षेत्र में हो रहे शोध और आविष्कारों को प्रोत्साहित करने की बात भी कही। उनका कहना था कि देश अब शांति और प्रगति को साथ लेकर आगे बढ़ रहा है और सैन्य शक्ति के क्षेत्र में भी आत्मनिर्भरता की दिशा में मजबूती से कदम बढ़ा रहा है।
नक्सलवाद पर सरकार की सख्ती
पीएम मोदी ने नक्सलवाद और माओवाद का जिक्र करते हुए कहा कि देश ने आजादी के बाद से इस हिंसा को झेला है, लेकिन अब नक्सलवाद का दायरा तेजी से सिमट रहा है। उन्होंने कहा कि देश के सुरक्षाबल एक नए आत्मविश्वास से लैस होकर नक्सलवाद को जड़ से खत्म करने के लिए जुटे हुए हैं। प्रधानमंत्री ने गर्व जताया कि देश के सैकड़ों जिले नक्सलवाद से मुक्त होकर चैन की सांस ले रहे हैं।
देश के संविधान की जीत
प्रधानमंत्री ने कहा कि बम और बंदूक के मुकाबले भारत का संविधान विजयी हो रहा है। जिन क्षेत्रों को कभी रेड कॉरिडोर कहा जाता था, वे अब ग्रीन जोन में बदल रहे हैं। यह बदलाव देश के उज्ज्वल भविष्य की ओर इशारा करता है।
आर्थिक मजबूती पर विश्वास
प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की ओर बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि 2014 से पहले महंगाई दर दो अंकों में थी लेकिन आज यह दो प्रतिशत के करीब है जिससे आम लोगों को राहत मिली है।
आतंकवाद के खिलाफ एकजुटता
पीएम मोदी ने हालिया पहलगाम आतंकी हमले का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा कि इस आतंकी हमले के बाद सभी दलों के प्रतिनिधियों ने दलगत राजनीति से ऊपर उठकर एक स्वर में पाकिस्तान को बेनकाब किया। दुनिया के कई देशों में जाकर भारत ने आतंकवाद के खिलाफ सच्चाई को सामने रखा। इसके लिए प्रधानमंत्री ने सभी सांसदों और राजनीतिक दलों की सराहना की। उन्होंने कहा कि इस प्रयास ने दुनिया में भारत की आवाज को मजबूती दी है।
सेना की प्रशंसा का आह्वान
प्रधानमंत्री ने विपक्षी दलों से अपील की कि वे संसद में सेना की खुलकर सराहना करें। उन्होंने कहा कि इस पर चर्चा की जाए कि भारत हथियारों के मामले में आत्मनिर्भर कैसे बने। उन्होंने जोर देकर कहा कि राजनीतिक मतभेद भले ही रहें लेकिन राष्ट्रीय हित के मामलों में सभी दलों को एक साथ आना चाहिए।
राष्ट्रहित को प्राथमिकता देने की अपील
प्रधानमंत्री ने कहा कि भले ही दलों के हित अलग-अलग हों और मत अलग-अलग हों लेकिन देशहित में सभी के मन मिल जाने चाहिए। उन्होंने भरोसा जताया कि संसद में इस बार सकारात्मक माहौल रहेगा और जो चर्चा होगी, वह देश के विकास, रक्षा और सम्मान को नई दिशा देगी।
सकारात्मक संदेश का अंत
प्रधानमंत्री के संबोधन से स्पष्ट है कि सरकार ऑपरेशन सिंदूर जैसी सैन्य उपलब्धियों को जनता तक पहुंचाना चाहती है ताकि लोगों में गर्व और भरोसा बढ़े। इसके साथ ही उन्होंने राजनीतिक दलों को यह संदेश दिया कि देशहित में सबको साथ चलना चाहिए। संसद के इस मॉनसून सत्र में सेना, सुरक्षा और आत्मनिर्भर भारत जैसे विषयों पर गंभीर चर्चा की उम्मीद जताई जा रही है।

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