पटना में थिनर फैक्ट्री में भीषण आग, सात गाड़ियां जली, फायर ब्रिगेड ने कड़ी मशक्कत के बाद पाया काबू

पटना। जिले के बाढ़ अनुमंडल स्थित गुलाबबाग में सोमवार देर शाम एक थिनर फैक्ट्री में अचानक भीषण आग लग गई। आग इतनी तेजी से फैली कि कुछ ही मिनटों में पूरे क्षेत्र में अफरा-तफरी मच गई। आग के कारण फैक्ट्री के आसपास का इलाका धुएं से भर गया, जिससे लोगों में दहशत फैल गई। आग पर काबू पाने के लिए दमकल विभाग को कड़ी मशक्कत करनी पड़ी।
फायर ब्रिगेड की 12 गाड़ियों ने पाया आग पर काबू
आग लगने के लगभग एक घंटे बाद फायर ब्रिगेड की गाड़ियां मौके पर पहुंचीं। दमकलकर्मियों को आग पर नियंत्रण पाने में करीब चार घंटे का समय लगा। इस दौरान 12 दमकल की गाड़ियों ने राहत कार्य में भाग लिया और लगातार पानी की बौछारें कर आग को बुझाने का प्रयास किया। अग्निशमन विभाग के अधिकारियों ने बताया कि अगर आग और ज्यादा फैलती तो आसपास के घरों को भी भारी नुकसान हो सकता था।
लपटों में जल गए कई वाहन और फसलें
आग इतनी भीषण थी कि इसके चपेट में चार ट्रैक्टर, दो मैजिक वाहन और एक लॉरी पूरी तरह जलकर खाक हो गए। इसके अलावा, फैक्ट्री के पास स्थित खेतों में गेहूं की फसल लगी हुई थी, जो इस हादसे में जलकर बर्बाद हो गई। खेतों के अलावा, कई घरों को भी इस आग से नुकसान पहुंचा। यहां तक कि पास में बनी पानी की टंकी भी जल गई।
थिनर के ड्रम फटने से बढ़ी आग की तीव्रता
फैक्ट्री में बड़ी मात्रा में थिनर रखा हुआ था, जो अत्यधिक ज्वलनशील होता है। जैसे-जैसे आग फैलती गई, वैसे-वैसे थिनर के ड्रम तेज धमाकों के साथ फटने लगे। धमाकों की आवाज दूर-दूर तक सुनाई दी, जिससे इलाके के लोग दहशत में आ गए। दमकल विभाग के अधिकारियों के अनुसार, इथेनॉल और थिनर की आग पेट्रोल से भी ज्यादा खतरनाक होती है। ऐसे में आग बुझाने का कार्य अत्यधिक चुनौतीपूर्ण हो गया था।
कई कर्मचारी झुलसे, एक अस्पताल में भर्ती
इस हादसे में फैक्ट्री में काम करने वाले कई कर्मचारी झुलस गए। हालांकि, उनकी चोटें गंभीर नहीं थीं। इनमें से एक कर्मचारी को अनुमंडलीय अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां उसका इलाज चल रहा है।
फायर सेफ्टी नियमों की होगी जांच
पटना ग्रामीण एसपी विक्रम सिहाग ने बताया कि फैक्ट्री में आग लगने के कारणों की जांच की जा रही है। इसके साथ ही यह भी देखा जाएगा कि फैक्ट्री में आग से बचाव के पर्याप्त इंतजाम थे या नहीं। अगर जांच में यह सामने आता है कि फैक्ट्री में फायर सेफ्टी के नियमों का पालन नहीं किया गया था, तो इसके मालिक के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
आग से करोड़ों का नुकसान होने की आशंका
अग्निकांड में हुए नुकसान का सही आकलन अभी नहीं किया जा सका है, लेकिन प्राथमिक जांच में करोड़ों रुपए की संपत्ति जलकर राख होने की आशंका जताई जा रही है। आग कैसे लगी, इस पर अभी कोई स्पष्ट कारण सामने नहीं आया है। अधिकारियों का कहना है कि जांच पूरी होने के बाद ही इस संबंध में अधिक जानकारी दी जा सकेगी। इस भीषण हादसे ने एक बार फिर औद्योगिक इकाइयों में सुरक्षा उपायों की कमी को उजागर कर दिया है। प्रशासन अब यह सुनिश्चित करने में जुटा है कि भविष्य में इस तरह की घटनाएं दोबारा न हों।
