October 28, 2025

मुजफ्फरपुर में खाना बनाते समय घर में सिलेंडर ब्लास्ट, आठ लोग झुलसे, दो बच्चों की हालत गंभीर

मुजफ्फरपुर। जिले के सदर थाना क्षेत्र के सुस्ता पंचायत अंतर्गत वार्ड संख्या 3 में शुक्रवार की सुबह उस समय अफरा-तफरी मच गई, जब खाना बनाते समय रसोई गैस सिलेंडर में जोरदार धमाका हो गया। यह विस्फोट इतना भीषण था कि कुछ ही मिनटों में आग ने आसपास के आधा दर्जन घरों को अपनी चपेट में ले लिया। लोग घरों से भागकर बाहर निकले, लेकिन तब तक लपटें काफी फैल चुकी थीं। इस घटना में आठ लोग बुरी तरह झुलस गए, जिनमें दो छोटे बच्चे भी शामिल हैं।
घटना का विवरण
स्थानीय सूत्रों के अनुसार, सुबह के समय एक घर में खाना बनाने की प्रक्रिया चल रही थी। तभी अचानक गैस सिलेंडर में रिसाव होने लगा और कुछ ही देर में उसमें विस्फोट हो गया। धमाके की आवाज इतनी तेज थी कि आसपास के लोग भी सहम गए। विस्फोट के तुरंत बाद रसोई में आग लग गई, जिसने देखते ही देखते आस-पड़ोस के घरों को अपनी चपेट में ले लिया। कुछ ही क्षणों में कई मकानों में आग फैल गई और इलाके में भगदड़ मच गई। लोगों ने तत्काल स्थानीय पुलिस और अग्निशमन विभाग को सूचना दी। सूचना मिलते ही दमकल की कई गाड़ियाँ मौके पर पहुंचीं। अग्निशमन कर्मियों ने कड़ी मशक्कत के बाद करीब दो घंटे में आग पर पूरी तरह काबू पाया।
घायलों की स्थिति
इस हादसे में आठ लोग झुलस गए हैं, जिनमें दो बच्चे गंभीर रूप से घायल बताए जा रहे हैं। सभी घायलों को तुरंत पास के अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उनकी हालत की लगातार निगरानी की जा रही है। अस्पताल सूत्रों के अनुसार चार लोगों की स्थिति चिंताजनक है। डॉक्टरों ने बताया कि गंभीर रूप से झुलसे पीड़ितों को बेहतर इलाज के लिए मुजफ्फरपुर मेडिकल कॉलेज रेफर किया जा सकता है। घटना के बाद इलाके में मातम और डर का माहौल फैल गया। परिजनों और स्थानीय लोगों की आंखों में दहशत साफ झलक रही थी। बच्चे और महिलाएं इस हादसे से काफी सहम गए हैं।
प्रशासन और जनप्रतिनिधियों की पहल
घटना की जानकारी मिलते ही बोचहा के विधायक अग्नि कुमार मौके पर पहुंचे। उन्होंने पीड़ित परिवारों से मुलाकात की और हर संभव मदद का भरोसा दिलाया। विधायक ने स्थानीय प्रशासन को निर्देश दिया कि प्रभावित परिवारों को तत्काल राहत सामग्री और अस्थायी आवास उपलब्ध कराया जाए। साथ ही उन्होंने जिला प्रशासन से घटना की गहराई से जांच करने को कहा, ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोका जा सके। विधायक ने बताया कि कई परिवारों का सब कुछ जलकर राख हो गया है, इसलिए सरकार को उन्हें विशेष सहायता प्रदान करनी चाहिए।
राहत और बचाव कार्य
पुलिस और प्रशासन ने तुरंत राहत कार्य शुरू कर दिए हैं। दमकल विभाग ने आग पर काबू पाने के बाद मलबे की जांच की, ताकि किसी अन्य विस्फोटक या गैस रिसाव की संभावना को रोका जा सके। प्रशासन ने इलाके में सुरक्षा बलों की तैनाती की है और प्रभावित लोगों को प्राथमिक चिकित्सा और भोजन उपलब्ध कराया जा रहा है। स्थानीय समाजसेवी संगठनों ने भी राहत कार्यों में हिस्सा लिया और पीड़ित परिवारों को कपड़े, भोजन तथा दवाइयाँ वितरित कीं। कई ग्रामीणों ने भी मिलकर आग बुझाने में दमकल कर्मियों की मदद की।
आग के कारणों की जांच
अग्निशमन विभाग और पुलिस ने संयुक्त रूप से जांच शुरू कर दी है। प्रारंभिक अनुमान के अनुसार सिलेंडर से गैस रिसाव होने के कारण यह विस्फोट हुआ। हालांकि, अधिकारियों ने कहा है कि तकनीकी जांच के बाद ही सही कारण स्पष्ट होगा। विशेषज्ञ टीम सिलेंडर के अवशेषों की जांच कर रही है ताकि यह पता लगाया जा सके कि कहीं गैस पाइपलाइन में कोई लीकेज तो नहीं था या रेगुलेटर की खराबी से विस्फोट हुआ। इस हादसे ने एक बार फिर घरेलू गैस सुरक्षा को लेकर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि वे गैस सिलेंडर का इस्तेमाल करते समय सभी सावधानियों का पालन करें और किसी भी तरह की गंध या रिसाव की स्थिति में तुरंत गैस एजेंसी को सूचित करें।
नुकसान का आकलन
प्राथमिक रिपोर्ट के अनुसार, आग में आधा दर्जन से अधिक घरों को भारी नुकसान पहुंचा है। कई घरों की छतें और दीवारें गिर गई हैं, जबकि घरेलू सामान पूरी तरह जलकर राख हो गया। पीड़ित परिवारों का कहना है कि उनके पास अब सिर छिपाने तक की जगह नहीं बची। कई लोगों के कीमती कागजात और जरूरी वस्तुएं भी आग में नष्ट हो गईं। प्रशासनिक अधिकारियों ने बताया कि नुकसान का विस्तृत आकलन किया जा रहा है। इसके बाद प्रभावित परिवारों को मुआवजा प्रदान किया जाएगा। मुजफ्फरपुर का यह हादसा न केवल एक स्थानीय त्रासदी है, बल्कि यह गैस सुरक्षा से जुड़ी लापरवाहियों की ओर भी संकेत करता है। सिलेंडर विस्फोट से हुई तबाही ने कई परिवारों को बेघर कर दिया है। हालांकि प्रशासन और जनप्रतिनिधियों ने राहत कार्य शुरू कर दिए हैं, लेकिन यह घटना सभी के लिए चेतावनी है कि रसोई में थोड़ी सी असावधानी कितनी बड़ी दुर्घटना का कारण बन सकती है। सरकार और आम जनता दोनों को मिलकर ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति रोकने के लिए गंभीरता से प्रयास करने होंगे।

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