पंचायती राज विभाग में 8093 पदों पर लिपिकों की होगी बहाली, नियमों में संशोधन को मंजूरी, अधिसूचना जल्द
पटना। बिहार सरकार ने पंचायती राज विभाग में ग्राम पंचायत स्तर पर लिपिकीय संवर्ग के 8093 पदों की बहाली की दिशा में एक बड़ा और अहम फैसला लिया है। इस निर्णय के तहत भर्ती नियमों में संशोधन को मंजूरी दी गई है। सरकार का मानना है कि इस पहल से राज्य की पंचायत प्रणाली को मजबूती मिलेगी और ग्रामीण प्रशासनिक व्यवस्था अधिक कारगर और जवाबदेह बन सकेगी।
परिवीक्षा अवधि में हुआ बदलाव
इस संशोधन का सबसे महत्वपूर्ण पहलू यह है कि अब नव नियुक्त लिपिकों की परिवीक्षा अवधि को दो वर्ष से घटाकर एक वर्ष कर दिया गया है। इस बदलाव का उद्देश्य भर्ती प्रक्रिया को गति देना और नियुक्त कर्मचारियों को शीघ्र नियमित कर प्रशासनिक जिम्मेदारियों में लगाना है। साथ ही, नियुक्ति के बाद इंस्टीट्यूशनल ट्रेनिंग को भी अनिवार्य कर दिया गया है ताकि चयनित उम्मीदवारों को कार्य से संबंधित तकनीकी और व्यावहारिक प्रशिक्षण मिल सके।
सीधी भर्ती को अधिक प्राथमिकता
नियमों के अनुसार कुल 85 प्रतिशत पद सीधी भर्ती के माध्यम से भरे जाएंगे। यानी इंटरमीडिएट (12वीं) उत्तीर्ण अभ्यर्थी इन पदों के लिए आवेदन कर सकेंगे और चयनित होंगे। वहीं, शेष 15 प्रतिशत पद कार्यालय में पहले से कार्यरत ‘परिचारी (विशिष्ट)’ कर्मियों को वरिष्ठता के आधार पर बिना परीक्षा दिए दिए जाएंगे। यह व्यवस्था लंबे समय से सेवा दे रहे कर्मचारियों को प्रोत्साहन देने और उनके अनुभव का लाभ लेने के लिए बनाई गई है।
अनुकंपा नियुक्ति में मिली छूट
एक और महत्वपूर्ण निर्णय यह लिया गया है कि अनुकंपा के आधार पर होने वाली नियुक्तियों के लिए अब बिहार कर्मचारी चयन आयोग (BSSC) की अनुशंसा आवश्यक नहीं होगी। यानी यदि कोई सरकारी कर्मचारी सेवा के दौरान दिवंगत होता है, तो उसके आश्रित को नियुक्ति के लिए अब लंबी प्रक्रिया का सामना नहीं करना पड़ेगा। यह बदलाव उन परिवारों के लिए राहत की बात है जो आकस्मिक परिस्थितियों में आर्थिक संकट का सामना करते हैं।
योग्य परिचारी नहीं होने पर विकल्प खुला
यदि किसी कार्यालय में ऐसा कोई परिचारी (विशिष्ट) नहीं है जिसने न्यूनतम इंटरमीडिएट की योग्यता प्राप्त की हो, तो ऐसे मामलों में उस 15 प्रतिशत आरक्षित पद को भी सीधी भर्ती के तहत भरा जाएगा। यह व्यवस्था सुनिश्चित करती है कि रिक्त पद किसी भी स्थिति में खाली न रह जाएं और प्रशासनिक कार्यों पर कोई प्रभाव न पड़े।
सरकार की पारदर्शिता और न्यायप्रियता पर बल
सरकार का दावा है कि यह संशोधन पारदर्शी, सरल और न्यायसंगत भर्ती प्रक्रिया को आगे बढ़ाने की दिशा में एक बड़ा कदम है। इससे न केवल योग्य अभ्यर्थियों को अवसर मिलेगा, बल्कि विभाग के भीतर काम कर रहे कर्मियों को भी आगे बढ़ने का मौका मिलेगा।
जल्द जारी होगी अधिसूचना
पंचायती राज विभाग के अधिकारियों के अनुसार, इस निर्णय के बाद जल्द ही अधिसूचना जारी की जाएगी और विस्तृत दिशा-निर्देश सामने आएंगे। उम्मीदवारों को सुझाव दिया गया है कि वे अधिसूचना का इंतजार करते हुए अपनी तैयारी शुरू रखें।
रोजगार और प्रशासन दोनों को लाभ
पंचायती राज विभाग में 8093 पदों पर बहाली का यह निर्णय बिहार में रोजगार के अवसरों को बढ़ावा देने के साथ-साथ ग्रामीण स्तर पर प्रशासन को भी मजबूत करेगा। पारदर्शी भर्ती प्रक्रिया और सरल नियमों के कारण अधिक से अधिक योग्य युवाओं को लाभ मिलेगा, जिससे राज्य की सेवा प्रणाली और अधिक कुशल बन सकेगी।


