जहाँ पर घटना हुई है वहाँ पर ग्यारह हजार के.वी बिजली का तार इतना नीचा है कि कोई भी व्यक्ति तार के नीचे खड़ा होकर अपने हाथ को उपर करे तो तार को छू जाये। किसान-मजदूर सिर पर बोझा या ट्रैक्टर भी यहाँ से नहीं गुजर सकता है। गाँव वाले लोगो का कहना है कि इस जर्जर बिजली के खंभे और नीचे तार को हटाने को लेकर पहले भी कई बार संबधित विभागीय अधिकारी के पास चक्कर लगाया जा चुका है। लेकिन वहाँ आम जनता और किसान-मजदूर को सुनने को तैयार ही नहीं है। उनलोगो के तरफ से जवाब मिलता है कि प्रोसेस इतना आसान नहीं है इसके लिए कुछ खर्च करना होगा। लगभग छः महीने पहले उत्क्रमित मध्य विद्यालय के छत से बिजली के तार हटाने के क्रम में इस तार को दुसरे खंभे पर हटाया जा चुका था लेकिन दो दिन बाद पुनः विभाग द्वारा नये पोल को तोड़कर पुराने जर्जर और नीचे खंभे पर ही तार को तान दिया गया था।