भाजपा के बंद को बिहार ने नकारा: बंद का आह्वान भाजपा के लिए हुआ बैकफायर: चित्तरंजन गगन

पटना। राजद के प्रदेश प्रवक्ता चित्तरंजन गगन ने कहा है कि एनडीए द्वारा आहूत आज के बिहार बंद को बिहार के आम अवाम द्वारा न केवल पुरे तौर पर नकार दिया गया है बल्कि यह एनडीए के लिए बैकफायर हीं साबित हुआ है। राजद प्रवक्ता ने बंद को पूर्णतः विफल बताते हुए कहा कि बेबुनियाद बातों के आधार पर भाजपा द्वारा राजद और कांग्रेस के खिलाफ एक नैरेटिव गढ़ने की साजिश को बिहार की जनता भली-भांति समझ चुकी है। इसका एहसास भाजपा को पहले हीं हो चुका था। इसीलिए बंद की अवधि को घटाकर सबेरे 7 बजे से दोपहर 12 बजे कर दिया गया था जबकि बंद की अवधि अमूमन दिन भर का होता है। सामान्य तौर पर कोई भी बाजार और दूकान तो 10 बजे के बाद हीं खुलता है। कार्यालय और शिक्षण संस्थान भी आम दिनों की तरह आज भी खुले रहे। यातायात की भी स्थिति सामान्य रही। पर इस दौरान राज्य के विभिन्न स्थानों पर बंद के समर्थन में सड़क पर निकले चंद नेताओं और कार्यकर्ताओं की गुंडागर्दी जरुर देखने को मिली। महिला के नाम पर किए गए बंद के दौरान बंद समर्थकों के गुंडागर्दी का शिकार सबसे ज्यादा महिलाओं को हीं झेलनी पड़ी। जहानाबाद में स्कूल जा रही एक महिला शिक्षिका को बीच सड़क पर बेरहमी के साथ मारा-पीटा गया, उसे गालियां दी गई। वह अपने बचाव के लिए गुहार लगाती रही पर वहां खड़ी पुलिस तमाशबीन बनी रही। एक जगह पर प्रसव-पीड़ा से कराहती महिला को ले जा रही गाड़ी को जबरन रोक दिया गया। जबरन बंदी कराने वाले एनडीए कार्यकर्ताओं द्वारा एम्बुलेंस और बच्चों को विद्यालय लेकर जाने वाले वाहन तक को नहीं बख्शा गया। भागलपुर में पत्रकार कांतेश के मां-बहन को गाली दी गई और उनके साथ मार-पीट की गई। बिहार के भिन्न-भिन्न जगहों से एनडीए कार्यकर्ताओं द्वारा महिलाओं सहित आम नागरिकों के साथ बेरहमी के साथ मार-पीट करने की घटनाओं की खबर आ रही है। राजद प्रवक्ता ने कहा है कि बिहार की जनता जानना चाह रही है कि कभी बिहार के मुख्यमंत्री के डीएनए पर सवाल खड़ा कर उनके मृत मां को गाली देने वाले ने माफी मांगी या नहीं , इसका जवाब तो जदयू वाले देंगे पर बंद के नाम पर आज जिस प्रकार आम लोगों के साथ हीं बड़ी संख्या में बिहार के मां-बहनों के साथ गाली-गलौच और मार-पीट की गई इसके लिए प्रधानमंत्री जी और मुख्यमंत्री जी कब माफी मांगेंगे।
