बेतिया में मुजफ्फरपुर-पोरबंदर एक्सप्रेस ट्रेन पर पथराव, कई कोच का शीशा टूटा, मची भगदड़

बेतिया। बिहार के पश्चिम चंपारण जिले के बेतिया से होकर गुजरने वाली *मुजफ्फरपुर-पोरबंदर एक्सप्रेस* (ट्रेन संख्या 19270) पर सोमवार शाम कुछ असामाजिक तत्वों ने पथराव कर दिया, जिससे ट्रेन के एसी कोच के शीशे टूट गए। घटना में किसी यात्री को गंभीर चोट नहीं आई, लेकिन कोच के भीतर बैठे यात्रियों में भारी दहशत फैल गई। यह घटना बेतिया रेलवे स्टेशन से कुछ ही दूरी पर हुई, जब ट्रेन प्लेटफॉर्म छोड़ चुकी थी। प्राप्त जानकारी के अनुसार, ट्रेन दोपहर 3:15 बजे मुजफ्फरपुर जंक्शन से रवाना हुई थी और शाम लगभग 6 बजे बेतिया स्टेशन पहुंची। स्टेशन से प्रस्थान करने के कुछ ही मिनटों बाद ट्रेन के बी-4 कोच की खिड़की पर अचानक जोरदार पत्थर फेंका गया। पत्थर कोच की खिड़की का शीशा तोड़ते हुए अंदर जाकर सीट पर गिरा। इससे कोच में सवार यात्रियों के बीच अफरातफरी मच गई।
यात्रियों में मची भगदड़, बाल-बाल बचे यात्री
घटना के समय ट्रेन में सफर कर रहे एक बैंक अधिकारी अपने लगभग बारह परिजनों के साथ मुजफ्फरपुर से जयपुर जा रहे थे। पत्थर लगते ही खिड़की के पास बैठे लोग घबरा गए और जान बचाने के लिए सीट के नीचे छिप गए। कई यात्री अपनी सीटें छोड़कर इधर-उधर भागने लगे। शुक्र है कि कोई बड़ा हादसा नहीं हुआ, लेकिन इस हमले ने यात्रियों की सुरक्षा को लेकर गंभीर चिंता उत्पन्न कर दी है।
ट्रेन को नरकटियागंज में रोककर की गई अस्थायी मरम्मत
घटना के बाद ट्रेन को नरकटियागंज स्टेशन पर रोकना पड़ा, जहां रेलवे कर्मचारियों और तकनीकी टीम ने क्षतिग्रस्त खिड़की पर टेप लगाकर अस्थायी मरम्मत की। इसके बाद ट्रेन को आगे के लिए रवाना किया गया। इस दौरान यात्रियों में भय और असुरक्षा का माहौल बना रहा।
आरपीएफ ने दर्ज किए बयान, जांच शुरू
घटना की सूचना मिलते ही नरकटियागंज जंक्शन पर रेलवे सुरक्षा बल (आरपीएफ) के अधिकारी सक्रिय हो गए। पोस्ट कमांडर ऋतुराज कश्यप ने बताया कि पीड़ित यात्रियों के बयान दर्ज किए गए हैं और आसपास लगे सीसीटीवी कैमरों की फुटेज खंगाली जा रही है। पत्थर फेंकने वाले उपद्रवियों की पहचान के लिए जांच तेज कर दी गई है। उन्होंने आश्वासन दिया कि दोषियों के खिलाफ जल्द कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
रेलवे की सुरक्षा व्यवस्था पर उठे सवाल
इस घटना ने एक बार फिर रेलवे की सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल खड़े कर दिए हैं। यात्रियों का कहना है कि अक्सर रेलवे स्टेशनों और आसपास के इलाकों में असामाजिक तत्व बेधड़क घूमते हैं और ऐसे मामलों में पुलिस की प्रतिक्रिया धीमी रहती है। यात्रियों ने मांग की है कि रेलवे परिसर और पटरियों के आसपास सुरक्षा बढ़ाई जाए तथा दोषियों को सख्त सजा दी जाए।
यात्रियों की मांग, सुरक्षा व्यवस्था हो दुरुस्त
घटना के बाद यात्रियों ने चिंता जताई कि अगर पथराव से कोई यात्री घायल हो जाता या बड़ी दुर्घटना हो जाती, तो उसकी जिम्मेदारी किसकी होती। उन्होंने रेल मंत्रालय से अपील की है कि ऐसे मामलों को गंभीरता से लिया जाए और भविष्य में इस तरह की घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो, इसके लिए ठोस कदम उठाए जाएं। फिलहाल, रेलवे सुरक्षा बल और रेल पुलिस मामले की गहनता से जांच कर रही है। आने वाले दिनों में दोषियों की गिरफ्तारी के साथ रेलवे की ओर से सुरक्षा व्यवस्था को लेकर नया प्लान सामने आने की संभावना जताई जा रही है।

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