बिहार में बीएड की पढ़ाई के लिए स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड से लोन शुरू, अबतक 100 से अधिक छात्रों ने किया आवेदन

पटना। बीएड और बीपीएड में पढ़ाई के लिए स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड के माध्यम से लोन मिलना शुरू हो गया है। इन दोनों कोर्स के लिए करीब 100 छात्र-छात्राओं ने आवेदन दिया है। जिला निबंधन सह परामर्श केंद्र (डीआरसीसी) के अधिकारियों के मुताबिक इस कोर्स को अबतक स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड से नहीं जोड़ा गया था। इस वित्तीय वर्ष में पहली बार बीएड और बीपीएड में नामांकन कराने वाले बच्चों को लोन दिया जा रहा है। वर्तमान समय में इस कोर्स से कम कॉलेजों को जोड़ा गया है। इसकी संख्या धीरे-धीरे बढ़ाई जा रही है। इसके साथ ही पॉलिटेक्निक, फैशन डिजाइनिंग, फुट वेयर डिजाइनिंग कोर्स करने वाले बच्चों के पढ़ाई में स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड के माध्यम से मदद के लिए आवेदन मांगा गया है। ताकि, इन प्रोफेशन कोर्स को कर बच्चे अपने कैरियर को संभाल सके। राज्य में आर्थिक रूप से कमजोर बच्चों को ऊच्च शिक्षा हासिल करने के लिए अक्टूबर 2016 में योजना स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना की शुरुआत हुई थी। बैंक की ओर से बच्चों को पढ़ने के लिए लोन देने में आनाकानी किए जाने के बाद राज्य सरकार ने बिहार राज्य शिक्षा वित्त निगम की स्थापना की। वर्ष 2018 से बच्चों को पढ़ने के लिए वित्त निगम के माध्यम से लोन दिया जाने लगा। स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड से लोन लेने वाले बच्चों को डिग्री हासिल करने के एक साल तक नौकरी करने का मौका दिया जाता है। इसके बाद लोन की रकम चुकानी होती है। लड़कियों और दिव्यांग को 1 प्रतिशत और लड़कों को 4 प्रतिशत साधारण ब्याज लगता है। यह भी पढ़ाई समाप्त होने के एक साल बाद से ही शुरू होता है। स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड के माध्यम से वित्तीय वर्ष 2024-25 में पटना जिला को 5086 छात्र-छात्राओं को उच्च शिक्षा के लिए लोन देने का लक्ष्य है। अभी तक 30 प्रतिशत छात्र-छात्राओं को लोन दिया गया है। शेष छात्र-छात्राओं के आवेदनों की जांच हो रही है। वही अगर स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड से लोन लेकर पढ़ाई पूरी करने वाले छात्र-छात्राएं नौकरी नहीं मिलने के कारण अगर लोन नहीं चुका रहे हैं तो नोटिस से बचने के लिए शपथ दे सकते हैं। जून और दिसंबर महीने में शपथ देने का समय है। शपथ देने वाले छात्र-छात्राओं को छह महीने का समय मिलेगा। ऐसे छात्र-छात्राओं को डीआरसीसी की ओर से नोटिस जारी नहीं किया जाएगा।

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